शोधकर्ताओं के अनुसार, पहले उन्होंने लैब में चूहों के एक समूह को कैंसर उत्पन्न किया गया। इसके बाद तांबा और ऑक्सीजन से बने कॉपर ऑक्साइड के नैनोपार्टिकल्स को चूहों के शरीर में बने ट्यूमर में इंजेक्ट किया गया। यह कॉपर ऑक्सॉइड मनुष्य के बाल से भी सैकड़ों गुना पतला था। इससे चूहों के शरीर से कैंसर गायब हो गया। इसके बाद जब शोधकर्ताओं ने फिर से चूहों के शरीर में कैंसर इंजेक्ट किया तो प्रतिरक्षा प्रणाली ने उसे नष्ट कर दिया।
जर्मनी के केयू लेवेन विश्वविद्यालय के प्रोफेसर स्टेफन सोनेन और डॉ. बेला मानशियान ने कहा कि अगले चरण में हम अन्य धातुओं के भी नैनोकणों को बनाएंगे। इससे यह पता लगाया जाएगा कि कौन सा धातु किस तरह के कैंसर से लडऩे में सक्षम होगा। अध्ययन में चूहों को फेफड़े और आंत्र में कैंसर दिए गए थे। वैज्ञानिकों ने सुझाव दिया कि तांबा ऑक्साइड स्तन और डिबग्रंथि के अन्य रूपों में काम कर सक ता है।