सोनिया देवी ने बताया कि पढ़े-लिखे होने के बावजूद युवाओं को रोजगार नहीं मिल पाता। ऐसे बेरोजगार युवाओं के लिए एक निजी कम्पनी गांव में कौशल विकास कार्यक्रम चला रही है। इसमें उन्हें कम्प्यूटर हार्डवेयर तथा सॉफ्टवेयर का प्रशिक्षण दिया जाता है।
सरपंच पद की शपथ लेने के दौरान सोनिया मीणा ने उन्हें मिलने वाले मानदेय को गांव की बालिकाओं की शिक्षा को समर्पित करने का प्रण लिया था। सोनिया मीणा के अनुसार गांव में बालिका स्कूल नहीं है। इसके लिए जिला अधिकारी मुलाकात कर अतिशीघ्र स्कूल खोलने की मांग की, जो कि मान ली गई।
सोनिया को सरपंच बने अभी केवल एक माह ही हुआ है, लेकिन अभी से गांव तरक्की के पथ पर अग्रसर है। पहले जहां अंधेरा रहता था, अब वह इलाका सोलर लाइटों से जगमगा रहा है। गांव साफ-सुथरा रहे, इसके लिए नालियों व सडक़ों को पक्का किया जा रहा है।