बच्चों से गुस्से ना हो, सकारात्मक रहे डॉ. ए. वेलुमनी ने सुझाव दिया कि लाड से किनारा करना बच्चे को शर्म या दोष देना नहीं है। यह दयालुता से लेकिन दृढ़ता के साथ उसके भीतर ऐसे कौशल को विकसित करने की प्रक्रिया है, जिससे वह इस दुनिया में अपना जीवन सम्मान से बिता सकें। ऐसे में यदि आपका बच्चा यह कहता है कि आप उसके लिए कुछ न करें तो आप गुस्सा न हों बल्कि सकारात्मक रहें और उसका सहयोग करते हुए उसपर विश्वास दिखाएं ताकि वह उस समस्या का समाधान कर सके। कार्यक्रम के दौरान सीआईआई यंग इंडियंस (CII Young Indians) जयपुर चैप्टर के चेयरमैन नितेश साबू ने भी अपने विचार रखे। कार्यक्रम में सीआईआई यंग इंडियंस (CII Young Indians) तथा इंडियन वुमन नेटवर्क (Indian Women Network) से करीब 120 प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया।