जयपुर

त्रिपुरा में दौसा के डिप्टी कमांडेट की मौत के बाद शव लेने मं आनाकानी, बाद में माने परिजन

पुलिस अफसर परिवार को समझाने का प्रयास कर रहे हैं लेकिन परिवार के सदस्य मौत पर सवाल खडा कर रहे हैं और साथ ही शहीद का दर्जा देने की मांग कर रहे हैं। काफी समझाईश के बाद शव लेने को परिजन तैयार हुए।

जयपुरApr 23, 2022 / 12:38 pm

JAYANT SHARMA

Navy officer drowns in sea, body recovered

जयपुर, दौसा
दौसा में पिछले दिनों प्रसूता की मौत के बाद मचे बवाल के बाद डॉक्टर के सुसाइड़ का मामला अभी पूरी तरह से ठंडा भी नहीं हुआ कि इस बीच नया मामला सामने आया है। इस बार एक डिप्टी कमांडेट के शव को लेकर बवाल मच रहा है। शव दौसा के सरकारी अस्पताल में रखा गया है। लेकिन शव परिजनों ने लेने से इंकार कर दिया है। पुलिस अफसर परिवार को समझाने का प्रयास कर रहे हैं लेकिन परिवार के सदस्य मौत पर सवाल खडा कर रहे हैं और साथ ही शहीद का दर्जा देने की मांग कर रहे हैं। काफी समझाईश के बाद शव लेने को परिजन तैयार हुए।
यह है पूरा मामला
दरअसल त्रिपुरा में तैनात बीएसएफ के डिप्टी कमाडेंट लालूराम मीणा की संदिग्ध हालत में मौत हो गई। कहा जा रहा है कि बीस अप्रेल को उन्होनें खुद को गोली मार ली थी। गोली क्यों मारी इसका जवाब फिलहाल किसी के पास नही है। लेकिन इस बीच उनके परिजनों का कहना है कि उन्होनें 26 अप्रेल को दौसा आने की बात कही थी। उनका कहना था कि वे पोते का जन्मदिन मनाने के लिए आने वाले हैं। लेकिन इससे पहले मौत की खबर सुनकर परिजन सदमे में हैं। इस पूरे मामले को लेकर परिजनों ने मंत्री मुरारीलाल मीणा से भी मुलाकात की है। गौरतलब है कि लालूराम मीणा दौसा ग्रामीण क्षेत्र के रहने वाले हैंे। वे करीब पच्चीस साल पहले एसआई के पद पर भर्ती हुए थे। परिजनों का कहना है कि वे तनाव में थे और इस कारण उनकी जान चली गई। अफसरों के समझाने के बाद काफी देर के बाद परिजन शव लेने को तैयार हो गए। उसके बाद शव यात्रा निकाली गई।

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