हाथी, घोड़े व ऊंट आदि के लवाजमे के साथ बैंडबाजों के बीच कलश यात्रा सुबह गोविंददेवजी मंदिर से रवाना हुई। कलश यात्रा हवामहल बाजार, बड़ी चौपड़, जौहरी बाजार, सांगानेरी गेट हेाते हुए घाटगेट पहुंची, तब तक गोविंददेवजी मंदिर से कलश लिए महिलाएं शामिल होती रही। मुख्य यजमान बाबा बस्तीनाथ महाराज हाथी पर सवार थे। उनके पीछे ध्वज पताकाएं लिए श्रद्धालु चल रहे थे। पीेछे महिलाएं सिर पर कलश लिए चल रही थी। इस दौरान जयकारे गूंजते रहे। कलश यात्रा घाटगेट, ट्रांसपोर्ट नगर, घाट की गूणी, गोनेर रोड स्थित बाबा बाल नाथ आश्रम पहुंची।
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यज्ञशाला में हुआ कुंडों का पूजन कलश यात्रा दोपहर में गोनेर रोड स्थित बाबा बालनाथ आश्रम पहुंची। यहां आश्रम के बाबा बस्ती नाथ ने गुरु गोरक्षनाथ और बाबा बालनाथ का पूजन किया। इसके बाद कलशों का पूजन किया गया। आश्रम में गुरुवार को 108 कुंडात्मक मृत्युंजय रुद्र महायज्ञ शुरू होगा, जो अगले साल 22 फरवरी, 2020 तक चलेगा।