रोडवेज ने घाटा ( Rajasthan Roadways In Loss ) बताकर प्रदेशभर से बसों के संचालन में दो लाख किलोमीटर की कमी कर दी। प्रबंधन के इस आदेश से रोडवेज जनता की पहुंच से दूर हो गई। 20 रुपए प्रति किमी से कम आय लाने वाली बसों को बंद करने से राज्य में 600 ट्रिप और 225 शेड्यूल बंद हो गए। सीधा असर ग्रामीण क्षेत्रों की जनता पर पड़ा है। यही पर बसें आना बंद हो गईं। कांग्रेस ने ग्रामीण क्षेत्रों में ही बसें चलाने की घोषणा की थी।
800 चालकों का अनुबंध समाप्त
रोडवेज ने अनुबंधित 800 चालकों की सेवा समाप्त कर दी। एक दिन पहले मौखिक रूप से डिपो अफसरों को आदेश दे दिए गए। 31 अक्टूबर को खत्म हो रहे अनुबंध को लेकर पहले से किसी भी तरह की तैयारी नहीं की गई। इससे शुक्रवार को प्रदेशभर में सैंकड़ों बसों का संचालन नहीं हो सका। हालांकि रोडवेज बसों को चलाने का दावा कर रहा है।
यों घटा सफर
2018 में टारगेट 16.84 लाख किमी था, जबकि रोडवेज चल रही थी 15.97 लाख किमी।
30 अक्टूबर 2019 तक टारगेट 16.49 लाख किमी था, जबकि रोडवेज चल रही थी 14.52 लाख किमी।
01 नवंबर से टारगेट 14.80 लाख किमी कर दिया, अब सडक़ों पर 13 लाख किमी ही चल पाएगी।
पत्रिका के माध्यम से और कई जगह से मेरे पास शिकायतें आई हैं। घाटे के कारण जनता को परेशानी में नहीं डाला जाएगा। मैंने आज ही रोडवेज अधिकारियों से पूरे प्रदेश की डिपो की रिपोर्ट मंगवाई हैं। बसों को फिर से चलाया जाएगा।
प्रताप सिंह खाचरियावास, परिवहन मंत्री
जानिए किस डिपो में कितने किमी बंद हुई बसें डिपो कितने किमी कम किए (किमी हजार में )
अजमेर 9
अजयमेरू 9
भीलवाड़ा 1
नागौर 3
हिंडौन 4
करौली 2
लोहागढ़ 7
मत्स्य नगर 4
तिजारा 8
अलवर 6
भरतपुर 9
धौलपुर 6
अनूपगढ़ 2
बीकानेर 6
गंगानगर 4
हनुमानगढ़ 8
सरदारशहर 3
दौसा 6
जयपुर 6
कोटपूतली 3
शाहपुरा 4
वैशाली नगर 7
विद्याधर नगर 0
आबूरोड 4
बाड़मेर 5
फालना 3
जोधपुर 1
जालौर 4
जैसलमेर 0
फलौदी 3
पाली 2
सिरोही 2
बूंदी 7
बारां 2
झालावाड़ 1
कोटा 3
सवाईमाधोपुर 2
टोंक 3
चूरू 3
झुंझूनूं 2
खेतड़ी 3
श्रीमाधोपुर 5
बांसवाड़ा 8
चित्तौडगढ़ 7
डूंगरपुर 5
प्रतापगढ़ 3
राजसमंद 7
उदयपुर 6