सोना सा ही सही… पिंजरा तो पिंजरा ही है….
जैसलमेर•Aug 06, 2020 / 09:37 am•
Deepak Vyas
Video: आलीशान होटलों में रह रहे विधायकों में छटपटाहट
जैसलमेर. सूबे की सरकार को संकट से उबारने के लिए मुखिया अशोक गहलोत ने अपने समर्थक विधायकों को सुदूर जैसलमेर के पांच सितारा होटलों में लाकर ठहराया है। जहां सुख-सुविधा की हर चीज मौजूद है। नहीं है तो मुक्त मन से इधर-उधर घूमने की गुंजाइश। यही कारण है कि खुले आसमान में सांस लेने तथा मनचाहा करने की चाहत इन विधायकों में लगातार बढ़ रही है। बुधवार सुबह मंत्री टीकाराम जूली और विधायक संयम लोढ़ा सम मार्ग पर टहलने निकले और वहीं सड़क किनारे बनी केबिन में चाय पीने बैठ गए। सामान्य कांच की गिलास में अति सामान्य स्थान पर चाय की चुस्कियां लेते इन जनप्रतिनिधियों ने यह संदेश तो दे दिया कि पिंजरा भले ही सोने का हो, लेकिन वह पिंजरा ही होता है।
बढ़ रहा खुले में निकलने का सिलसिला
जैसलमेर में विधायकों को आए छह दिन हो गए हैं। शुरू-शुरू में केवल केबिनेट मंत्री डॉ. बीडी कल्ला, प्रमोद जैन भाया और भंवरसिंह भाटी मंदिरों में दर्शन करने के लिए बाहर निकले। धीरे-धीरे यह संख्या बढ़ रही है। उनके बाद अब तक मंत्री सुखराम विश्नोई, हरीश चैधरी, राजेंद्र यादव, अशोक चांदना, टीकाराम जूली, विधायक संयम लोढ़ा, जगदीश जांगिड़ बाहर देखे जा चुके हैं। फिटनेस के हिसाब से अशोक चांदना ने तो गोरबंध होटल से सूर्यागढ़ तक दौड़ कर व पैदल चल कर दूरी तय की। ऐसे ही चांदना ने गोरबंध के किचन में जाकर कुकिंग में भी हाथ आजमाए। उनसे पहले संयम लोढ़ा गाय, घोड़ों और श्वानों को दुलार कर अपना पशुप्रेम जाहिर कर चुके हंै। जानकारी के अनुसार सख्त निगरानी व्यवस्था में रह रहे कई विधायकों ने घुटन महसूस की है। रही-सही कसर होटल के कमरों में नेटवर्क की समस्या ने पूरी कर रखी है।
घरवालों को स्वास्थ्य की चिंता
इस बीच जानकारी मिली है कि पहले जयपुर और अब जैसलमेर में कुल तीन सप्ताह से घर-परिवार से दूर रह रहे विधायकों के स्वास्थ्य की सबसे ज्यादा चिंता उनके परिजनों को सता रही है। इन विधायकों में कई जने उम्रदराज हैं और उनकी नियमित दवाइयां चलती हैं। उस पर वर्तमान में कोरोना काल भी चल रहा है। यही वजह है कि उनके परिजन दिनभर मोबाइल पर बातचीत कर उन्हें स्वास्थ्य का ख्याल रखने की हिदायतें देते रहते हैं। विधायक भी वॉइस कॉलिंग और सुविधा होने पर वीडियो कॉलिंग कर परिवार के सदस्यों से सम्पर्क में रहते हैं ताकि उनकी चिंता कम हो सके।