शनिवार रात कांग्रेस ने 155 प्रत्याशियों की पहली सूची जारी की थी। इसमें झाबुआ विधानसभा से सांसद एवं पूर्व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कांतिलाल भूरिया के बेटे डॉ.विक्रांत भूरिया का नाम था। इससे आक्रोशित झाबुआ से दावेदारी कर रहे पूर्व विधायक जेवियर मेड़ा के समर्थकों ने रविवार को सांसद भूरिया के खिलाफ प्रदर्शन किया था। साथ ही चेतावनी दी थी कि यदि जेवियर को टिकट नहीं दिया तो निर्दलीय चुनाव लड़ा जाएगा। चूंकि जेवियर उस वक्त दिल्ली में थे। इसलिए समर्थक उनके आने का इंतजार कर रहे थे। देर शाम जेवियर झाबुआ पहुंचे और फिर विवेकानंद कॉलोनी स्थित उनके निवास पर आगे की रणनीति बनाई। जेवियर का कहना था कि उनकी सोनिया गांधीजी से बात हुई है और 9 तारीख तक टिकट बदल दिया जाएगा। इसके बाद तय किया गया कि सोमवार को कांग्रेस प्रत्याशी के रूप में नामांकन दाखिल करना है। लिहाजा झाबुआ व आसपास के गांवों सहित बोरी, राणापुर, कुंदनपुर आदि क्षेत्रों में जेवियर के समर्थक सरपंचों को सूचना भेजी गई। इसका परिणाम रहा कि सोमवार सुबह से ही जेवियर के विवेकानंद कॉलोनी स्थित मकान के बाहर सैकड़ों समर्थक जमा हो गए। यहां से वे रैली के रूप में नामांकन भरने के लिए निकले। रैली में शामिल लोग कांग्रेस के झंडे लिए चल रहे थे। दोपहर करीब एक बजे उन्होंने निर्वाचन अधिकारी एवं एसडीएम एमएल मालवीय के समक्ष नाम निर्देशन पत्र जमा किया।
2008 में कांग्रेस ने बदला था टिकट
वर्ष 2008 में कांग्रेस ने झाबुआ में टिकट बदला था। उस वक्त जिला पंचायत अध्यक्ष कलावती भूरिया को प्रत्याशी घोषित किया था। उस वक्त मेड़ा की पैरवी ज्योतिरादित्य सिंधिया के साथ मीनाक्षी नटराजन व जीतू पटवारी ने भी की थी। इसके बाद झाबुआ से कांग्रेस ने बाद में जेवियर मेड़ा को अपना प्रत्याशी बना दिया। इसमें जेवियर ने जीत हासिल की थी।