उन्होंने पीएम नरेन्द्र मोदी पर कटाक्ष करते हुए कहा कि झुंझुनूं आगमन के बावजूद जिलेवासियों को कोई बड़ी सौगात नहीं दे पाए। काजी निजामुद्दीन ने कांग्रेस के घोषणा पत्र में किए वायदे पूरा करने की बात को दोहराया।
रायशुमारी के दौरान प्रत्याशी व समर्थकों में राजस्थान सह प्रभारी व प्रभारी से मिलने की होड़ सी लग गई। भीड़ को देखते हुए विधानसभावार कार्यकर्ताओं को रायशुमारी के लिए बुलाया गया।इस दौरान अन्य समर्थक अपने प्रत्याशी के लिए नारेबाजी करते हुए नजर आए।
कुछ समर्थकों की ओर से मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के पुत्र वैभव गहलोत को झुंझुनूं से लोकसभा का प्रत्याशी बनाने की बात कहते हुए समर्थन पत्र सौंपा। सबसे लिए समर्थन पत्र
लोकसभा चुनाव में दावेदारी के लिए पहुंचे पदाधिकारियों को रायशुमारी के लिए गाइड लाइन दी गई थी। जिसके मुताबिक जनप्रतिनिधी, प्रदेश सदस्य, जिला कांग्रेस कमेटी, ब्लॉक अध्यक्षों से रायशुमारी कर समर्थन के लिफाफे लेने थे। लेकिन बैठक के दौरान कार्यकर्ताओं की नाराजगी से बचने के लिए सभी से समर्थन पत्र के लिफाफे लिए गए।
रायशुमारी के दौरान विधानसभा चुनाव के दौरान पार्टी के प्रत्याशियों के विरोध में प्रचार करने वालों की उपस्थिति को लेकर माहौल गर्मा गया। इस दौरान समर्थकों ने कांग्रेस राजस्थान सह प्रभारी काजी निजामुद्दीन के समक्ष नाराजगी जाहिर की। विरोध के दौरान एक पदाधिकारी के साथ हाथापाई की नौबत आ गई। माहौल बिगड़ता देखकर विधानसभा चुनाव में पार्टी प्रत्याशी के विरोध में रहे कार्यकर्ता को रायशुमारी से बाहर कर दिया गया।
कार्यकर्ताओं ने डीसीसी गठन का मामला लम्बित होने पर नाराजगी जताई। कांग्रेस राजस्थान सह प्रभारी के समक्ष कार्यकर्ताओं ने कहा कि इससे कांग्रेस कमजोर हो रही है। उन्होंने डीसीसी गठन करने की बात कहते हुए जिला मुख्यालय पर कार्यालय खोलने की भी मांग की।
इन्होंने जताई दावेदारी
डॉ राजाबाला ओला, डॉ. चन्द्रभान, पूर्व विधायक श्रवण कुमार,सुरेश कटेवा, राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी महासचिव धनूरी निवासी शब्बीर हुसैन खान, विजेन्द्र सिंह शेखावत, सुनील झाझडिय़ा, रियाज फारूकी आदि ने दावेदारी प्रस्तुत की।