प्रयोगशाला में काम कर रहे वैज्ञानिक रंजन मौर्य व प्रशिक्षु वैज्ञानिक गौरव झुलस हो गए। गौरव को जयपुर रैफर किया गया है। प्रयोगशाला में विदेशों से आयात महंगे उपकरण थे। प्रथम दृष्टया पचास से साठ कारोड़ रुपए के नुकसान का अनुमान है। दुर्घटना के बाद संस्थान निदेशक डा. जमील अख्तर ने बताया कि आग के कारणों की जानकारी तथा नुकसान का आंकलन करने के लिए संस्थान के वैज्ञानिकों की टीम गठित की जाएगी। आग लगने का कारण फिलहाल केमिकल बताया जा रहा है। हालांकि सही कारणों का पता जांच के बाद ही चलेगा।
केमिकल के भण्डार
सीरी संस्थान की जिस प्रयोगशाला में मंगलवार को आग लगी। उसके नजदीक ही कई अन्य प्रयोगशाला एवं केमिकल के भण्डार हैं। प्रयोगशालाओं में बड़ी मात्रा में प्लास्टिक के उपकरण लगे हैं। मंगलवार को लगी आग प्लास्टिक उपकरणों के चलते ही दूसरी मंजली में पहुंची थी। आग पर समय रहते काबू नहीं पाया जाता तो प्रभावित प्रयोगशाला से सटी हुई कई अन्य प्रयोगशालाएं भी इसकी चपेट में आ सकती थी।