परिषद या पालिका के बजट से अधिक
जानकारों की माने तो शराब की बिक्री से सरकार को अकेले झुंझुनूं जिले से एक साल में करीब दो से तीन अरब रुपए का राजस्व मिल रहा है।जो कि जिले की परिषद व पालिका को शहर व कस्बों के विकास के मिलने वाले सालाना बजट से अधिक है।
350 करोड़ राजस्व अर्जित करने का लक्ष्य
वर्ष 2019-20 के लिए आबकारी को नए लक्ष्य दे दिए है। पिछले साल जहां जिला आबकारी विभाग को 288 करोड राजस्व अर्जित करने का लक्ष्य दिया था। इस वर्ष इसे बढ़ाकर 27 प्रतिशत अधिक करीब 350 करोड़ रुपए का कर दिया गया है।
बिक्री से अधिक अवैध तरीके से पहुंच रही शराब
सूत्रों की माने तो जिले में जितनी शराब व बीयर की खपत हो रही है।उससे कहीं अधिक हरियाणा निर्मित अंग्रेजी शराब व बीयर की सप्लाई जिले में हो रही है।शराब तस्करों की ओर से सिंघाना, बुहाना, खेतड़ी स्थित कच्चे रास्तों से ट्रकों में शराब लेकर जिले में पहुंचा रहे हैं। पुलिस की ओर से मंडावा, मलसीसर, चिड़ावा में कार्रवाई करते हुए अवैध शराब के भरे हुए ट्रक जब्त किए जा चुके हैं। इसके अलावा सैनिकों के लिए अधिकृत कैंटीन का आंकड़ा अलग से है।
जानकारी के मुताबिक हाइवे स्थित होटलों पर थोड़े दाम अधिक देने से आसानी से शराब मिल जाती है।इसके अलावा मिलीभगत के चलते शहर सहित गांवों में देर रात तक शराब के ठेकों पर शौकीनों की भीड़ देखी जा सकती है।इसकों लेकर कई बार शिकायतें होने पर भी कार्रवाई नहीं हो पा रही है।
राजस्व की प्राप्ती पिछले चार माह में 83 करोड़ रुपए आंकड़ों की सच्चाई
माह अंग्रेजी देशी बीयर
अप्रेल 291547 795565 858779
मई 242495 837554 865279
जून 210163 733423 839247
(खपत मात्रा बल्क लीटर में ) अप्रेल से जुलाई तक आबकारी विभाग की कार्रवाई
मामले केस
अवैध शराब बिक्री 185
अधिक रेट 30
समय बाद बिक्री 4
अन्य अनियमिता 28
पिछले साल की तुलना में इस बार सरकार की ओर से राजस्व के लक्ष्य बढ़ाए गए हैं। चार माह में शराब की बिक्री से 83 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त हुआ है।विभाग की ओर से अवैध शराब बेचने वालों पर कड़ी नजर रखी जा रही है। शिकायत मिलने पर नियमानुसार कार्रवाई की जा रही है।
-भवानी सिंह राठौड़, जिला आबकारी अधिकारी झुंझुनूं।