पिता ने जताई लाचारी- 25 बालिकाओं की शिक्षा का खर्चा उठाने की इस अनूठी पहल की नींव एक मई को उस समय पड़ी जब प्रधानाचार्या शशि गोयल के पास अपनी तीन बच्चियों को लेकर एक पिता आया और आगे पढ़ाने में लाचारी जताते हुए कहा कि इनकी मां नहीं है और मैं इतना नहीं कमा पाता हूं कि इनकी शिक्षा का खर्चा उठा सकूं, आप फीस वगैरह माफ करें तो मदद मिल सकती है। शशि गोयल ने यथासंभव मदद का आश्वासन दे दिया और पिता बच्चियों को आगे पढ़ाने पर सहमत होकर चला गया, मगर समस्या यह थी कि इस तरह कोई बजट नहीं था। उस समय ये पांचों शिक्षक भी वहीं बैठे थे। इन्होंने शशि गोयल के सामने प्रस्ताव रखा कि हम इस तरह की जरूरतमंद बच्चियों की पढ़ाई आगे जारी रखने के लिए अपने पास से सत्र पर्यन्त खर्चा उठाने को तैयार है।
बनानी पड़ी समिति- मई में ही कुछ एेसे मामले और सामने आए जिनमें एेसी जरूरतमंद के साथ एेसी बालिकाएं जो अव्वल रही पर उनके लिए भी धनाभाव के चलते शिक्षा आगे जारी रखना संभव नहीं था। इस पर प्रधानाचार्या शशि गोयल के साथ इन पांचों शिक्षकों ने तय किया कि वे इस तरह की पांच-पांच बालिकाओं का सत्र पर्यन्त शिक्षा का खर्चा उठा लेंगे। तब २५ बालिकाओं के चयन के लिए विद्यालय स्तर पर एक समिति बनी और उस समिति ने १९ जून को सत्र फिर से शुरू हुआ तब विद्यालय की एेसी २५ बच्चियों का चयन किया। इसकी घोषणा व शुरूआत के लिए एक जुलाई का दिन तय हुआ और इन पच्चीस बालिकाओं को सोमवार को आयोजित एक समारोह में स्कू ली बैग व स्टेशनरी देकर इसकी शुरूआत कर दी। राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय अणवाणा में सोमवार को बच्चों को सेहत का एक गिलास की योजना शुरू करने के साथ ही इस अनूठी पहल की शुरूआत के साक्षी बने सरपंच भगवानचन्द भटट्ड, मण्डल महामंत्री सत्यनारायण पुष्करणा व अन्य ग्रामीण।
और लोग भी प्रेरित होंगे- कार्यक्रम में सरपंच भटट्ड ने कहा की शिक्षकों की ओर से उठाया गया कदम आगे भी लोगों को प्रेरित करेगा। गोयल ने कहा की बालिका शिक्षा को बढावा देने के लिए शिक्षकों की ओर से की गई अभिनव पहल अच्छी हैं।
-भगवानचन्द भटट्ड, सरपंच, अणवाणा तबादला हो तब भी खर्चा उठाएंगे- इन पांचों शिक्षकों ने यह तय किया है उनके जिम्मे जिन-जिन पांच बालिकाओं की शिक्षा का जिम्मा है, अगर उनका तबादला भी हो जाता है तो भी वे जिम्मदारी निभाएंगे।-शशि गोयल, प्रधानाचार्या