इस राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन सभी तरह के विवादों का निस्तारण करना है ( court news )। इस राष्ट्रीय लोक अदालत में प्री-लिटिगेशन और लंबित प्रकरणों को समाहित करते हुए शमनीय दांडिक अपराध, अंतर्गत धारा 138, परक्राम्य विलेख अधिनियम, बैंक रिकवरी मामले, एम.ए.सी.टी मामले, पारिवारिक विवाद, श्रम-विवाद, भूमि अधिग्रहण मामले, बिजली व पानी के बिल (चोरी के अलावा) मजदूरी भत्ते और पेंशन भत्तों से संबंधित सेवा मामले, राजस्व मामले, अन्य सिविल मामले (किराया, सुखाधिकार, निषेधाज्ञा दावे एवं विनिर्दिष्ट पालना दावे) आदि का निस्तारण किया जाएगा।
जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, जोधपुर महानगर, जोधपुर के अध्यक्ष एवं जिला एवं सैशन न्यायाधीश नरसिंहदास व्यास ने बताया कि मुख्य न्यायाधिपति, राजस्थान उच्च न्यायालय व कार्यकारी अध्यक्ष रालसा के निर्देशानुसार 14 दिसंबर को प्रस्तावित चतुर्थ राष्ट्रीय लोक अदालत के लिए जोधपुर महानगर न्यायक्षेत्र में पदस्थापित सभी न्यायिक अधिकारियों की बैठक आयोजित कर उन्हें विस्तृत दिशानिर्देश प्रदान कर दिए गए हैं। साथ ही अधिक से अधिक प्रकरणों का निस्तारण करने पर जोर दिया गया है।
जिला विधिक सेवा प्राधिकरण जोधपुर महानगर के सचिव सिद्वेश्वरपुरी ने बताया कि आगामी दिनों में अधिवक्ताओं, प्रशासन, पुलिस, नगर निगम, बैंक, बीमा कंपनी, श्रम विवाद, राजस्व विभाग व अन्य संबंधित विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक का आयोजन किया जाएगा जिसमें राष्ट्रीय लोक अदालत की तैयारियों पर चर्चा की जाएगी और दिशा निर्देश दिए जाएंगे। बैठक में उपस्थित जोधपुर महानगर क्षेत्र के सभी न्यायिक अधिकारियों ने लोक अदालत के सफ ल क्रियान्वयन के लिए विचार व्यक्त किए।