साल २०१४ में पूर्ववर्ती सरकार में स्टाफिंग पैटर्न लागू हुआ था। उस समय उच्च माध्यमिक स्कूलों में कक्षा ११-१२ में नामांकन ८० व उससे अधिक होने की दशा में अनिवार्य हिन्दी-अंग्रेजी व्याख्याता पद स्वीकृत करने का प्रावधान दिया गया। इन नियमों के तहत जिले व प्रदेश में कई स्कूल खरी नहीं उतर पा रही है। एेसे में ६०-७० के नामांकन वाले विद्यार्थियों को पढ़ाने के लिए योग्य व्याख्याता नहीं मिल रहे हैं। जबकि राज्य सरकार की पूर्व में हुई भर्तियों में अंग्रेजी विषय के बहुत कम पद स्वीकृत किए गए हैं। गत पांच वर्षों में जोधपुर जिले में २८६ नई ग्राम पंचायतों का गठन हुआ है। प्रत्येक ग्राम पंचायत मुख्यालय पर उच्च माध्यमिक स्तर का सरकार विद्यालय संचालित करने का मानस बना रही है। २१ पंचायत समिति मुख्यालय हैं, यहां भी अंग्रेजी पढ़ाने वाले व्याख्याताओं की भारी कमी चल रही है।
जोधपुर में हिन्दी व्याख्याता के ८९ और अंग्रेजी के ३३ पद खाली