मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि आयोग तो यही चाहता है कि शत-प्रतिशत वोट पड़ें। इसके लिए जो भी व्यवस्थाएं हो सकती है वह सभी कराई जाएंगी। गर्भवती महिलाओं, बुजुर्गों और बीमार व्यक्ति (जो वोट डाल सकते हों) को जरूरत पडऩे पर वाहन की व्यवस्था कराकर पोलिंग बूथ तक ले जाया जाएगा। यह भी सुनिश्चित किया जाएगा कि इन्हें अनावश्यक लाइन में न लगना पड़े। वोट डालने के बाद इन्हें घर छुड़वाने की व्यवस्था भी कराई जाएगी।
मतदाता को वोट डालने के लिए प्रेरित करने के लिए तीन मुख्य बिंदु इन्फॉर्मेशन, फेसिलिएशन और मोटीवेशन पर ध्यान देना होगा। निर्वाचन से जुड़े अधिकारियों से यही कहा गया कि वह इन तीनों बिंदुओं पर कार्य कर मतदाताओं को प्रेरित करने का कार्य करें। संयुक्त मुख्य निर्वाचन अधिकारी डा. अलका वर्मा ने कहा कि हम सभी का प्रयास है कि वोटर लिस्ट में कोई पात्र वोटर न छूटे। 25 जनवरी को सभी वोटरों को शपथ लेनी है कि वह मतदान अवश्य करेगा।
प्रदेश में साढ़े 14 करोड़ वोटर हैं। हाल में अभियान के दौरान ऐसे कई लोग प्रकाश में आए जो एक ही नाम के हैं। इन लोगों की समीक्षा कराने पर 21 लाख एंट्रियां इस प्रकार की मिली हैं। इन सभी एंट्रियों को हटाने का कार्य भी किया जा रहा है। अधिकारी ने कहा कि प्रदेश में 22 लाख वोटर कार्ड पहले से पेंडिंग हैं।
मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने कहा कि वीआईपी कल्चर खत्म होना चाहिए। मतदान में इस कल्चर का कोई काम नहीं। उन्होंने उप जिला निर्वाचन अधिकारी को निर्देश दिए कि शहर में कौन वीआईपी मतदाता हैं उनकी सूची अलग से तैयार करा ली जाए। यह वीआईपी अपने स्तर से अम्बेसडर बनाए जाए। आयोग की तरफ से हेल्पलाइन 1950 शुरू की जाने वाली है। इस नम्बर पर मैसेज करने के साथ ही मतदाता को पोलिंग बूथ समेत अन्य सूचनाएं मिल सकेंगी। चुनाव में मतदाताओं को जागरूक करने के लिए सोशल मीडिया का भी भरपूर प्रयोग किया जाएगा।