1351.36 मीटर लंबाई के इस ओवरब्रिज में रेलवे लाइन के उपर उंचाई 16 मीटर होगी। इस स्थान पर नीचे अंडर ब्रिज से वाहन, भूतल और उसके उपर ग्रेड सेपरेटर पर ट्रेनें और सबसे ऊपर भारी वाहनों की आवाजाही होगी। नागरिकों को इंतजार है कि सागर पुलिया पर निर्माणाधीन ओवरब्रिज का निर्माण जल्दी हो। वह इसलिए भी कि यहां से निकलकर ही लोग कलेक्टर ऑफिस से लेकर अन्य सरकारी दफ्तर और जबलपुर व अन्य शहरों को जाते हैं।
इस दौरान सागर पुलिया पर आए दिन लगने वाले जाम और वाहनों की आवाजाही के लिए बेहद कम स्थान होने के कारण वाहन चालकों को चार दशक से ज्यादा समय से समस्या का सामना करना पड़ रहा है। ब्रिज कार्पोरेशन के कार्यपालन यंत्री पीएस परिहार का कहना है कि कटनी शहर में सागर पुलिया के पास ओवरब्रिज निर्माण का काम तय समय से पहले पूरा होने की उम्मींद है। निर्माण के दौरान गुणवत्ता और बैलेंस की हर बारीकी का सटीक अध्ययन करने के बाद ही साइट इंजीनियर निर्माण को आगे बढ़ाते हैं।
खास-खास:
– 8 से ज्यादा इंजीनियर छोटी-छोटी बारीकियों पर ध्यान देते हुए करवा रहे ओवरब्रिज का निर्माण। इसमें ब्रिज कार्पोरेशन के साथ ही कंस्लटेंट के इंजीनियर शामिल हैं।
– 54 करोड़ 67 लाख के इस प्रोजेक्ट को लेकर बड़ी समस्या फंड को लेकर सामने आ सकती है। अब तक ठेकेदार फर्म को 13 करोड़ रुपये का भुगतान हुआ है। डिमांड की तुलना में किसी बिल में 30 तो किसी में 28 प्रतिशत का ही भुगतान।
– ओवरब्रिज में रेलवे लाइन के उपर स्टील के गर्डर डाले जाएंगे। लाइन के उपर ब्रिज की लंबाई ज्यादा होने से कांक्र्रीट से कम वजन के स्टील गर्डर से मजबूती ज्यादा होगी और वजन कम होगा।