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कटनी

कृषि आय को दुगनी करने करने इस जिले में बना खास प्लान, कृषि, उद्यानिकी व पशुपालन विभागों की कलेक्टर ने दिए ये निर्देश

कलेक्टर शशिभूषण सिंह ने कृषि और संबद्ध विभागों के अधिकारियों को पांच वर्ष में किसानों की आय दुगनी करने तैयार रोडमैप की गतिविधियों का क्रियान्वयन गंभीरता पूर्वक करने के निर्देश दिये हैं। उन्होने कहा कि जैविक खेती और समन्वित कृषि को बढ़ावा देते हुये जिले के अधिक से अधिक किसानों को इसके दायरे में शामिल करें। कलेक्टर ने मंगलवार को कृषि, उद्यानिकी, पशुपालन, दुग्धसंघ, मत्स्य विभाग के अधिकारियों की बैठक लेकर विभागीय गतिविधियों की समीक्षा भी की।

कटनीJun 12, 2019 / 11:40 am

balmeek pandey

Instruction given by collector to double agricultural income

Instruction given by collector to double agricultural income

कटनी. कलेक्टर शशिभूषण सिंह ने कृषि और संबद्ध विभागों के अधिकारियों को पांच वर्ष में किसानों की आय दुगनी करने तैयार रोडमैप की गतिविधियों का क्रियान्वयन गंभीरता पूर्वक करने के निर्देश दिये हैं। उन्होने कहा कि जैविक खेती और समन्वित कृषि को बढ़ावा देते हुये जिले के अधिक से अधिक किसानों को इसके दायरे में शामिल करें। कलेक्टर ने मंगलवार को कृषि, उद्यानिकी, पशुपालन, दुग्धसंघ, मत्स्य विभाग के अधिकारियों की बैठक लेकर विभागीय गतिविधियों की समीक्षा भी की। इस मौके पर उप संचालक कृषि एके राठौर, उप संचालक पशु चिकित्सा डॉ. आरपीएस गहरवार, सहायक संचालक मत्स्य अजय केलकर, उद्यानिकी से जीएल प्रजापति, परियोजना संचालक आत्मा एवं वेटनरी सर्जन भी उपस्थित थे। कलेक्टर ने विगतदिनों संभागस्तरीय कृषि उत्पादन आयुक्त की समीक्षा बैठक में प्राप्त निर्देशों की जानकारी देते हुये कहा कि कृषि फसल बीमा योजना में अऋणी किसानों को अधिक से अधिक रूप से शामिल करने कहा। जिले में मृदा परीक्षण के वितरण होने से शेष रहे स्वाईल टेस्ट कार्ड 20 जून तक अनिवार्य रुप से किसानों को वितरित करायें। जिले में गौशाला स्थापना के निर्धारित लक्ष्य 30 के विरुद्ध 21 गौशाला चिन्हांकन के दृष्टिगत कलेक्टर ने शेष 9 गौशालाओं की स्थापना के लिये तहसीलदार से संपर्क कर स्थल का चिन्हांकन करने के निर्देश दिए। उन्होने कहा कि विकासखण्ड स्तरीय पशुकल्याण समितियों का गठन 3 दिवस के भीतर पूर्ण करें तथा बीमार पशुओं के उपचार के लिये पशुधन संजीवनी योजना का व्यापक प्रचार-प्रसार करें। ताकि ज्यादा से ज्यादा पशु पालक इसका लाभ उठा सकें। टोलफ्री कॉल सेन्टर के नम्बर 1962 का भी प्रचार करने के निर्देश दिये गये।

पांच साल का बना खाका
पांच साल में किसानों की आय दुगना करने के तैयार रोडमैप के तहत 5 वर्ष के भौतिक लक्ष्य, वार्षिक लक्ष्य, रोडमैप की 2018-19 की प्रगति और वर्ष 2019़-20 के रोडमैप के लक्ष्य और गतिविधियों की समीक्षा की। उन्होने कहा कि उद्यानिकी फसलें, दुग्ध उत्पादन, मत्स्य पालन, कुक्कुट पालन, डेयरी आदि की गतिविधियों के साथ ही समन्वित खेती और जैविक खेती को बढ़ावा देकर लक्ष्यों की प्राप्ति की जा सकती है। ग्रीष्मकालीन मूंग और मक्के की खेती को प्राथमिकता देने कहा, ताकि किसानों की अतिरिक्त आय होगी।उन्नत तकनीकों को अपनाने कृषि विज्ञान केन्द्र, आत्मा परियोजना, कृषि विभाग के अमले के दल गठित कर क्लस्टरवाईज किसानों को प्रशिक्षण देने कहा।

 

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यह है जिले का कृषि रकबा
उन्होने कहा कि अन्र्तवर्तीय फसलों और धान की एसआरआई पद्धति तथा कृषि की उन्नत तकनीकों को अपनाने कृषि विज्ञान केन्द्र, आत्मा परियोजना, कृषि विभाग के अमले के दल गठित कर क्लस्टरवाईज किसानों को प्रशिक्षण दें। अमानक स्तर के खाद-बीज के नमूनों की जांच की कार्यवाही सतत चलनी चाहिए। अमानक स्तर के कृषि सामग्री विक्रय पर लाइसेन्स निरस्त करने के साथ ही पुलिस में प्रकरण भी दर्ज करायें। उप संचालक कृषि ने बताया कि जिले में 2 लाख 20 हजार हेक्टेयर कृषि योग्य भूमि है, जिसमें खरीफ सीजन के लिये संशोधित रुप से एक लाख 77 हजार हैक्टेयर में क्षेत्राच्छादन का लक्ष्य रखा गया है। खरीफ सीजन के लिये 2019-20 में 38 हजार क्विंटन बीज और 30 हजार 85 मेट्रिक टन उर्वरक की आवश्यकता होगी। अन्र्तवर्तीय फसलों में अरहर, उड़द तथा ज्वार, उड़द को बढ़ावा दिया जा रहा है। कटनी से स्लीमनाबाद वाले क्षेत्र में सालभर स्वीटकॉर्न उत्पादन करने की योजना है। ढीमरखेड़ा और बहोरीबंद क्षेत्र के क्लस्टर में जैविक खेती को बढ़ावा दिया जा रहा है। उद्यानिकी विभाग के तहत आम, अमरुद, नींबू और आंवले के फलोद्यान और मछली पालन विभाग के तहत मत्स्य जलाशयों में मत्स्य पालन के साथ ही सिंघाड़ा उत्पादन की भी कार्ययोजना तैयार की गई है।

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