चरित्रहीन लोग उठा रहे सवाल
मप्र में हर कोरोना के प्रोटोकाल पर काम हुआ है। कोल्ड चैन तैयार है। वैक्सीन के हर पहलू पर चैन तैयार है। बेटी बचाव के लिए सरकार प्रतिबद्ध है। आरोपियों को फांसी की सजा सहित कई कानून तय किए हैं। वैक्सीन की विश्वसनियता व कांग्रेस के सवाल पर कहा कि वैज्ञानिकों ने दिनरात मेहनत कर वैक्सीन तैयार की है। शशि थरूर जैसे चरित्रहीन लोग वैक्सीन पर प्रश्चचिन्ह लगा रहे हैं जिनपर आरोप है कि पत्नी का ही मर्डर कर दिया। पीएम बधाई के पात्र हैं जिन्होंने कोविड को हराने के लिए बेहतर काम किए हैं। वैक्सीन बनाना और लगाना दोनों चुनौती पूर्ण है। यदि नेता को वैक्सीन लगाने से विश्वसनियता होगी तो इसे भी स्वीकार किया जाएगा। गलती से कांग्रेस की पिक्चर 15 महीने के लिए रिलीज हो गई थी अब डिब्बा बंद हो गई है।
गुणवत्तायुक्त तैयार होंगे डॉक्टर
क्लीनिकल मेडिसिन, क्रिटिकल, अस्पताल प्रबंधन पर काम नहीं हुआ। कोरोना में संक्रमण का रोग है। पीजी कोर्स लेकर आ रहे हैं। अच्छे चिकित्सक बनाने के लिए प्रेक्टिकल ट्रेनिंग मिले इस पर फोकस है। मेडिकल के माध्यम से छात्रों को पढ़ाई अच्छी मिलती है व गरीबों का बेहतर इलाज मिलता है। अस्पतालों की गुणवत्ता पर ध्यान देंगे। समाज का एक बड़ा वर्ग है जो सेवा के काम में लगना चाहता है। सभी मेडिकल के अस्पताल में मरीज मित्र योजना की शुरूआत करेंगे। समाज का वह वर्ग जो बिना किसी मानदेय के सेवा देना चाहता है उसे ऑर्गनाइज करेंगे। मप्र के सभी अस्पतालों में मरीजों को उचित इलाज मिले डॉक्टर्स और मरीज के बीच में सेतु का काम करेंगे। मप्र में गुणवत्तापूर्ण डॉक्टर का निर्माण, गरीबों को नि:शुल्क गुणवत्तायुक्त उपचार की व्यवस्था सुनिश्चित करेंगे।
अब कैसे भर गया खजाना
मेडिकल कॉलेज के लिए 25 एकड़ जमीन उपलब्ध हो गई है। यह जमीन मेडिकल कॉलेज के लिए बहुत उपयुक्त है। 15 माह में कांग्रेस की सरकार देखी। मुख्यमंत्री कमलनाथ व तथाकथित मंत्री हों वे योजना की बात पर खजाना खाली होने की बात करते थे। तश्वरी और तकदीर बदलने के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान बने। शिवराज सिंह के कार्यकाल में 82 हजार करोड़ रुपये किसानों व मप्र के नागरिकों को विभिन्ना माध्यमों से लाभ दिला चुकी है। अब खजाना कैसे भर गया। वहीं प्रशासन हैं। ऐसा इसलिए हुआ क्योंकि कमलनाथ की नीति थी आइफा अवार्ड आयोजित कराने की है और हमारी नीति है गरीब के घर में उजाला लाने की। कमलनाथ की नीति थी भ्रष्टाचार के माध्यम से दस जनपथ, सोनिया गांधी, राहुल गांधी के एशोआराम में पैसे भेजने की, हमारी योजना है संबल योजना के माध्यम से गरीब के इलाज कराने की। हम गरीब के कल्याण में लगे हैं।
35 हजार की हो रही जांच
कोरोना काल में राजस्व की कमी हुई है उसके बाद भी मप्र में बेहतर काम हुए हैं। रेवेन्यू कलेक्शन में मात्र 70 करोड़ पीछे हैं। जीएसटी में मप्र अव्वल पहुंच रहा है। प्रधानमंत्री ने मुख्यमंत्री को बधाई दी है। ग्रामीण विकास, शहरी विकास में अव्वल है। हर योजना सरपट दौड़ रही है। संबल योजना लागू हो गई है। मप्र ऐसा राज्य है जहां पर कोरोना इलाज फ्री चल रहा है। कमलनाथ सरकार में सिर्फ 60 लोगों का इलाज हो रहा है अब 35 हजार लोगों की जांच हो रही है। कहीं पर वेंटीलेटर, ऑक्सीजन लाइन नहीं थी, बिस्तर कम थे, 6 माह में स्वास्थ्य सेवाएं अपडेट की है। वैक्सीन को लेकर कहा कि वैज्ञानिक बधाई के पात्र हैं।