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ठेकेदारों ने पहले की बेपरवाही अब रुपयों की कमी का बहाना बता पीएम आवास बनाने से खड़े कर रहे हाथ

नगर निगम के अधिकारियों की बेपरवाही व ठेकेदारों की लापरवाही के चलते रुपये जमा करने के बाद भी हितग्राही प्रधानमंत्री आवास से वंचित हैं, जबकि झिंझरी में बन रहे प्रधानमंत्री आवास (एएचपी) का काम 27 मार्च 18 से शुरू होकर 30 मई 2019 को पूरा कर देना था।

कटनीDec 22, 2019 / 10:01 pm

balmeek pandey

Negligence in Municipal Corporation's Pradhan Mantri Awas Yojana

Negligence in Municipal Corporation’s Pradhan Mantri Awas Yojana

कटनी. नगर निगम के अधिकारियों की बेपरवाही व ठेकेदारों की लापरवाही के चलते रुपये जमा करने के बाद भी हितग्राही प्रधानमंत्री आवास से वंचित हैं, जबकि झिंझरी में बन रहे प्रधानमंत्री आवास (एएचपी) का काम 27 मार्च 18 से शुरू होकर 30 मई 2019 को पूरा कर देना था। इसमें इडब्ल्यएस के 792, एलआइजी 384 व एमआइजी के 336 आवास बनने हैं। नगर निगम की 117.46 करोड़ रुपये वाली योजना का काम अभी भी धीमी गति से चल रहा है, जबकि 29 मई 2020 तक समयावधि बढ़ाने एमआइसी को प्रस्ताव दिया गया। यहां पर बीआरपी एसोसिएट द्वारा किया जा रहा है। दो साल से लेकर अब तक यहां पर हितग्राहियों द्वारा 20 हजार रुपये जमा किए गए हैं, 20 हजार हितग्राही को प्रथम किश्त जमा कराई गई है एक लाख 80 हजार बैंक से फाइनेंस कराया जा रहा है। 607 झिंझरी के बैंक प्रकरण तैयार हो गए हैं। रुपयों की कमी बताकर ठेकेदार समय पर काम नहीं कर रहे। इसी तरह द्वितीय चरण प्रेमनगर में 2800 आवास बनने हैं। इसमें इडब्ल्यूएस 1744 और एलआइजी के 1056 आवास हैं। यहां पर 205.53 करोड़ की लागत से कल्याण टोल इन्फ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड द्वारा काम किया जा रहा है। 1436 निर्माणाधीन हैं। उनमें से एमआइएस अटचमेंट 507 हो गए हैं।

खास-खास:
– एलआइजी, एमआइजी की बुकिंग भी कर दी गई है चालू।
– ठेकेदारों द्वारा सड़क, नाली, पानी की सुविधा पर नहीं दिया जा रहा ध्यान।
– प्रेमनगर में 4 दिसंबर से 24 माह 3 दिसंबर 19 को पूरा होना था निर्माण।
– नगर निगम के नोडल इंजीनियों ने काम की प्रगति र नहीं दिया ध्यान।
– तीन साल में ठेकेदार करते रहे लापरवाही, नोटिस भी नहीं हुआ जारी।

 

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इनका कहना है
ठेकेदार भुगतान न मिलने की स्थिति में और आगे काम करने से हाथ खड़े कर रहे हैं। उनका कहना है कि कई करोड़ रुपये वे फंसा चुके हैं, आगे हिम्मत नहीं है। रुपयों के कारण कार्य की गति है, हालांकि अभी कुछ दिनों से काम में तेजी है। कार्य का फ्लो बना रहे इस पर ध्यान दिया जा रहा है।
एचके त्रिपाठी, इंजीनियर, नगर निगम।

प्रधानमंत्री आवास निर्माण में ठेकेदार रुपयों की समस्या बता रहे हैं तो उसकी पीछे की मुख्य वजह उनके द्वारा समय पर कार्य न करना है। ठेकेदारों पर कार्रवाई के लिए प्रकरण एमआइसी में रखा गया है। हितग्राही ऋण के अधिकांश प्रकरण बैंक में चले गए हैं। अब कार्य में प्रगति है।
शैलेंद्र शुक्ला, अधीक्षण यंत्री, नगर निगम।

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