-प्रशासन ने भोजन कराकर बस से भेजा हरसूद तकराशन के लिए गुहार लगाने कलेक्टोरेट पहुंची महिलाएं
खंडवा. कोरोना वायरस के चलते देशभर में लागू लॉक डाउन के चलते सबसे ज्यादा अन्य राज्यों में मजदूरी करने गए प्रवासी मजदूरों की हो रही है। काम बंद होने से बेरोजगार हुए मजदूर अपने-अपने प्रदेशों के लिए पलायन कर रहे है। साधन उपलब्ध नहीं होने पर मजदूरों सैकड़ों किमी का सफर पैदल ही कर रहे है। मंगलवार को सूरत से झारखंड और सतना के लिए निकले 11 मजदूर खंडवा पहुंचे। जिन्हें प्रशासन ने भोजन कराकर खंडवा की सीमा तक वाहन से भेजा।
मजदूरों ने बताया कि चार दिन पहले वो सूरत से निकले थे। रास्ते में कोई सवारी नहीं मिली। कहीं पर खाना मिला तो कहीं पर नहीं। प्रशासन को जब इन मजदूरों की जानकारी मिली तो संयुक्त कलेक्टर एसएल सिंघाड़े और स्वास्थ्य विभाग की टीम ने इन्हें सिविल लाइन क्षेत्र में पूनमचंद गुप्ता कॉलेज के पास रोका। सभी मजदूरों का यहां स्वास्थ्य परीक्षण किया गया। साथ ही समाजसेवी संस्था के माध्यम से इन मजदूरों को भोजन कराया गया और शाम का भोजन भी पैकेट में दिया गया। इसके बाद एक बस से इन मजदूरों को हरसूद तक छुड़वाया गया। संयुक्त कलेक्टर सिंगाड़े ने बताया कि अन्य जिले की सीमा में वाहन भेजना प्रतिबंधित है। आगे हरदा प्रशासन को जानकारी दे दी गई है। व्यवस्था होने पर वे इन मजदूरों को हरदा जिले की सीमा तक छोड़ देंगे।
लॉक डाउन के चलते गरीब परिवारों की परेशानी हो रही है। मंगलवार को चंपा तालाब क्षेत्र के आदर्श नगर कॉलोनी की महिलाएं कलेक्टोरेट पहुंची और कलेक्टर तन्वी सुंद्रियाल से राशन के लिए गुहार लगाई। 15 से अधिक महिलाओं ने बताया कि वे सभी घरेलू कामकाजी महिलाएं है। इनमें से कई के पास बीपीएल या एपीएल राशन कार्ड भी नहीं है। काम बंद होने से घर में राशन की परेशानी हो रही है। कलेक्टर ने सभी महिलाओं के नाम पते नोट करवाकर शाम तक राशन की व्यवस्था कराने का आश्वासन दिया।