जानकारी के अनुसार पूर्व पार्षद ने विधानसभा टिकिट वितरण के दौरान डॉ. विजयलक्ष्मी साधौ का विरोध किया था। इसके बाद से ही वह साधौ के टारगेट पर थे। सूत्रों के अनुसार पुलिस के पास विवाह योजना की राशि में गड़बड़ी का मामला जैसे ही सामने आया साधौ व उनके समर्थकों ने उसे भनाया और पुलिस के जरिए उसकी गिरफ्तारी को हाईप्रोफाइल बनाया गया। चूंकि सेफुद्दउीन अरुण यादव गुट से ताल्लुक रखते हैं। इस लिहाज से यादव समर्थक पूर्व पार्षद के समर्थन में आगे आए और टीआई का विरोध किया।
पूर्व पार्षद को हथकड़ी लगाकर उसका जुलूस निकालने वाले टीआई हाकमसिंह पंवार को सोमवार देर रात ही लाइन अटैच किया गया। दिनभर की उठापटक के बाद मंगलवार रात करीब ९.३० बजे टीआई को फिर उसी थाने पर बहाल भी कर दिया। जानकारी के अनुसार जिला मुख्यालय से यह कार्रवाई अरुण यादव गुट के हस्तक्षेप के बाद हुई। हालांकि पुलिस इस प्रक्रिया को पूरी तरह कानूनी करार दे रही है।
ज्ञापन के जरिए समर्थकों ने बताया १२ अगस्त को महेश्वर में शिव डोला निकलेगा। इसके साथ ईद भी मनाई जाएगी। थाना प्रभारी के इस कृत्य से महेश्वर की फीजा बिगडऩे की संभावना है। थाना प्रभारी का यह कृत्य गैर जिम्मेदाराना है। उन पर निलंबन की कार्रवाई होनी चाहिए। निलंबन नहीं होता है तो कड़ा विरोध प्रदर्शन व जन आंदोलन किया जाएगा।
पूर्व पार्षद सेफुद्दीन पर यह आरोप थे कि उसने दिव्यांग युवक-युवती के फर्जी दस्तावेज प्रस्तुत कर विवाह योजना की राशि में धोखाखड़ी की। पुलिस ने उस पर सोमवार को चार धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज की। इसी मामले में सोमवार को उसकी गिरफ्तारी की गई। कोर्ट में पेश करने से पहले पुलिस ने उसे हथकड़ी डाली और सका जुलूस निकाला। इसी बात से नाराज होकर मंगलवार को उसके समर्थकों ने जिला मुख्यालय पर मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपकर संबंधित टीआई को निलंबित करने की मांग की।
एएसपी शशिकांत कनकने ने बताया मामले की जांच होगी, तब तक टीआई हाकमसिंह पंवार थाने पर ही पदस्थ रहेंगे। एक दिन पूर्व लाइन अटैच की कार्रवाई को निरस्त करते हुए उन्हें बहाल कर दिया है।