हिपहॉप डांस को पश्चिम बंगाल में बढ़ावा देने के लिए उसने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के निवास स्थान से लेकर बंगाल सरकार के कई मंत्रियों तक लिखित पत्र दे गुहार लगाई। उसने हताश-निराश भरे स्वर में कहा कि सबसे ज्यादा उसे दुख इस बात का है कि बंगाल के तमाम आला अधिकारियों से लेकर भाजपा नेताओं तक फरियाद लगाने के बावजूद आजतक उसकी मदद के लिए अब तक कोई आगे नहीं आया न ही किसी ने उसकी सुध ली। अमर ने कहा कि केंद्रीय संस्कृति मंत्री महेश शर्मा को इसने 3 खत भेजे, कोई जवाब नहीं मिला। इसी साल जून में सीएम ममता के निवास जाकर मेयर फिरहाद हकीम को हाथ में पत्र भी थमाया और अपनी पीड़ा सुनाई। करीब 3 बार नवान्न भी जाकर मदद की गुहार लगाई। फिलहाल उसके पिता का व्यापार भी बंद पड़ा है और उसे गंभीर आर्थिक संकट का सामना करना पड़ रहा है।
इस प्रतियोगिता में 55 देशों की टीम ने मेजबानी की और भारत से इस प्रतियोगिता में भाग लेने वाले अमर एकमात्र था। मॉस्को में स्ट्रीट डांस वल्र्ड डांस कप वल्र्ड डांस ओलंपियाड-२०१७ में उसने दुनिया की 55 टीमों को धूल चटाकर भारत का परचम लहराया। भारत से सिर्फ और सिर्फ अमर को ही इस प्रतियोगिता के लिए चयनित किया गया था।
अमर पहला भारतीय है जिसने सोलो डांस की बदौलत विश्व चैंपियनशिप में 2 गोल्ड मेडल हासिल किए। यह प्रतियोगिता पिछले 14 वर्षों से रूस में आयोजित हो रही है। बिना नेशनल, स्टेट स्तर प्रतियोगिता में भाग लिए सीधे अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिता में भाग लेने का अवसर अमर को प्रदान हुआ। सवालों के जवाब में अमर ने बताया कि स्वर्ण पदक हासिल करने के बाद स्वदेश लौटकर उसे बेहद खुशी हुई कि भारत का नाम हिपहॉप चैंपियनशिप में विश्व स्तर पर पहुंचाने में वह कामयाब रहा। यू-ट्यूब देख खुद को उसने विदेश जाने से पहले प्रशिक्षित किया था। इससे पहले १३ साल की आयु में कांकुडग़ाछी में डांस टीचर मनीष दास ने उसे गुर सीखाए।