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कोलकाता

कूटनीति ने मेरी यात्राएं रोकीं- ममता

नई कविता के जरिए भाजपा पर फिर किया वार

कोलकाताAug 07, 2018 / 11:06 pm

MANOJ KUMAR SINGH

Kolkata West Bengal

कूटनीति ने मेरी यात्राएं रोकीं- ममता

अपनी अंग्रेजी कविता अनटचएबल में उन्होंने लिखा है कि क्या आप चीन जाना चाहती हैं, नो कमेन्ट्स प्लीज, राजनीतिक कूटनीतिक ने इसे रद्द कर दिया। स्वामी विवेकानंद के शिकागो भाषण के 125 वर्ष पर शिकागो जाना चाहेंगे। धार्मिक वर्चस्व ने इसका दरवाजा बंद कर दिया।
कोलकाता.

तृणमूल कांग्रेस प्रमुख और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मंगलवार को भी कविता के माध्यम से भाजपा पर वार करने का सिलसिला जारी रखा। मंगलवार को अंग्रेजी में अनटचएबल और बांग्ला में नाम नेई शीर्षक की दो राजनीतिक कविताएं लिखीं। दोनों कविताओं के केन्द्र बिन्दु में भाजपा और केन्द्र सरकार है। अपनी नई कविताओं में उन्होंने अपनी विदेश यात्रा के रद्द होने पर सवाल उठाए और कहा कि उनकी चीन यात्रा में राजनीतिक कूटनीति और धार्मिक वर्चस्व ने उनकी शिकागो यात्रा में रोड़ा अटकाया।
अपनी अंग्रेजी कविता अनटचएबल में उन्होंने लिखा है कि क्या आप चीन जाना चाहती हैं, नो कमेन्ट्स प्लीज, राजनीतिक कूटनीतिक ने इसे रद्द कर दिया। स्वामी विवेकानंद के शिकागो भाषण के 125 वर्ष पर शिकागो जाना चाहेंगे। धार्मिक वर्चस्व ने इसका दरवाजा बंद कर दिया। अपनी अंग्रेजी कविता में हाल ही में दिल्ली के सेन्ट स्टीफन्स कॉलेज की ओर से
आमंत्रण वापस लिए जाने का जिक्र कर उन्होंने लिखा है कि सेन्ट स्टीफन्स कॉलेज का आमंत्रण स्वीकार है, अनुमति नहीं है दोस्तों। वर्ग संघर्ष देखिए।

अपनी बांग्ला कविता नाम नेई यानि नाम नहीं है मेंं भी मुख्यमंत्री ने एटीएम फ्राड को ले कर केन्द्र सरकार के डिजिटलाईजेशन पर तंज कसा। उन्होंने लिखा है कि तुम कहां जाते हो? डिजिटल होने जा रहे है। एटीएम सबसे आगे है। क्या आधार में आप का नाम है। देश आगे बढ़ रहा है। रोटी चाहिए शॉपिंग मॉल जाइए। वहीं पर आपको मिलेगी रोटी। इससे पहले सोमवार को उन्होंने बांग्ला भाषा में परिचय शीर्षक कविता लिख कर असम में एनआरसी, जाति, धर्म, भाषा और खानपान की राजनीति पर सवाल उठाया था।

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