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कोटा संभाग को मिला साढ़े तीन हजार मीट्रिक टन डीएपी व एनपीके

कोटा संभाग के लिए शनिवार को साढ़े तीन हजार मीट्रिक टन इफको की रैक मिली है। जिसमें ढाई हजार मीट्रिक टन डीएपी व 1 हजार मीट्रिक टन एनपीके मिला है।

कोटाOct 10, 2021 / 11:33 pm

Haboo Lal Sharma

कृभको की 2800 मीट्रिक टन की रैक भी आएगी

कोटा संभाग को मिला साढ़े तीन हजार मीट्रिक टन डीएपी व एनपीके

कोटा. कोटा संभाग के लिए शनिवार को साढ़े तीन हजार मीट्रिक टन इफको की रैक मिली है। जिसमें ढाई हजार मीट्रिक टन डीएपी व 1 हजार मीट्रिक टन एनपीके मिला है। इसे संभाग की सहकारी समितियों में भिजवा दिया गया है। इसी तरह सोमवार सुबह तक 2800 मीट्रिक टन की रैक पहुंचने की संभावना है। इसे भी सभी जिलों में सहकारी समितियों में भिजवाया जाएगा।
एसएसपी व एनपीके का उपयोग करने की सलाह
संयुक्त निदेशक कृषि रामावतार शर्मा ने बताया कि आयुक्त कृषि के निर्देशानुसार किसानों को डीएपी की कमी के चलते वैकल्पिक फॉस्फेटिक उर्वरक सिंगल सुपर फॉस्फेट (एसएसपी) व एनपीके का उपयोग करने की सलाह दी है ताकि डीएपी की कमी से संभावित नुकसान से बचा जा सके। उन्होंने बताया कि एसएसपी एक फॉस्फेरस युक्त उर्वरक है जिसमें 18 प्रतिशत फॉस्फेट व 11 प्रतिशत सल्फर की मात्रा पाई जाती है। इसमें उपलब्ध सल्फर के कारण यह उर्वरक तिलहनी एवं दलहनी फसलों के लिए अन्य उर्वरकों की अपेक्षा अधिक लाभदायक होता है। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार डीएपी की आपूर्ति में सुधार के लिए लगातार प्रयास कर रही है। कृषि मंत्री लालचन्द कटारिया व कृषि विभाग के प्रमुख शासन सचिव केन्द्रीय रसायन एवं उर्वरक मंत्रालय के अधिकारियों से निरंतर सम्पर्क बनाए हुए है। उन्होंने बताया कि एसएसपी उर्वरक डीएपी की तुलना में सस्ता एवं बाजार में आसानी से उपलब्ध है।

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