बैठक में उन्होंने स्पष्ट कर दिया कि जो बूथ अध्यक्ष बन गए है उन्हें किसी भी सूरत में नहीं हटाया जाएगा। किसी बूथ अध्यक्ष को लेकर शिकायत है तो लिखित में दे दें, उसकी जांच करवा कर उचित कार्रवाई करेंगे। चुनाव प्रभारी ने शहर अध्यक्ष के लिए गोपनीय रूप से पर्ची में नाम लिखकर देने को कहा। पदाधिकारियों ने नाम लिखकर दे दिया है।
चुनाव प्रभारी ने अग्रवाल सेवा सदन में सबसे पहले कोटा दक्षिण के पदाधिकारियों की बैठक ली। इसमें विधायक संदीप शर्मा भी मौजूद थे। यहां बूथ अध्यक्ष व कार्यकारिणी के गठन पर कोई आपत्ति नहीं थी। लाडपुरा
विधानसभा क्षेत्र की बैठक में विधायक कल्पना देवी, पूर्व विधायक भवानीसिंह राजावत व अन्य पदाधिकारी मौजूद थे।
राजावत ने बिना उनकी जानकारी के बूथ अध्यक्ष व कार्यकारिणी गठन पर आपत्ति भी जताई और चुनाव प्रक्रिया पर भी सवाल उठाया। कोटा उत्तर की बैठक में पूर्व विधायक व अन्य पदाधिकारी मौजूद थे। पूर्व विधायक ने भी बूथ कार्यकारिणी के गठन पर आपत्ति जताई। बैठकों में शहर अध्यक्ष हेमंत विजयवर्गीय, प्रदेश उपाध्यक्ष प्रहलाद पंवार, प्रदेश मंत्री छगन माहुर, सह चुनाव प्रभारी मुकुट नागर, पूर्व जिलाध्यक्ष महेश विजयवर्गीय, शहर महामंत्री अरविंद सिसोदिया समेत अन्य पदाधिकारी मौजूद थे।
बंद कमरे में फूटा गुस्सा चुनाव प्रभारी शर्मा ने विधायकों और पूर्व विधायकों से बंद कमरे ने बातचीत की। सूत्रों का कहना है कि बंद कमरे में पूर्व विधायकों ने खासा विरोध जताया है। शर्मा ने पदाधिकारियों को नसीहत दी कि बैठकों में जो बातें सामने आई है, उसे सार्वजनिक नहीं किया जाए।
14 मण्डल अध्यक्षों के लिए भी नाम लिए तीनों बैठकों में 14 मण्डल अध्यक्षों के लिए भी नामों की पर्ची ली और शहर अध्यक्ष के लिए पदाधिकारियों से नाम लिखित में लिए गए हैं। सभी पर्चियां शर्मा अपने पास रखी ली।