scriptबढ़ रहा है टाइफाइड का प्रकोप, एक साल में बढ़े 278 मरीज | typhoid case 278 patients growth within one year in lalitpur | Patrika News
ललितपुर

बढ़ रहा है टाइफाइड का प्रकोप, एक साल में बढ़े 278 मरीज

जिले में बढ़ रहा है टाइफाइड का प्रकोप और अस्पतालों में बढ़ रही है मरीजों की भीड़

ललितपुरOct 05, 2018 / 06:24 pm

Mahendra Pratap

typhoid

बढ़ रहा है टाइफाइड का प्रकोप, एक साल में बढ़े 278 मरीज

ललितपुर. बरसात के बाद पनपी अनेक बीमारियों में एक बीमारी टाइफाइड ने भी अपने पांव पसारना शुरू कर दिया हैं। संभवतः बरसात के बाद पानी दूषित होने की संभावना बढ़ जाने के कारण ही यह स्थिति उत्पन्न हुई हैं। यहां तक कि पिछले साल की अपेक्षा इस साल टाइफाइड के मरीज भी ज्यादा चिन्हित हुए हैं। स्वास्थ्य विभाग द्वारा मिले आकड़ों के अनुसार जिले में जनवरी 2017 से दिसंबर 2017 तक मरीजों की संख्या लगभग 808 थी। वहीं इस जनवरी 2018 से 15 सितंबर 2018 तक मरीजों की संख्या लगभग 1086 हो गई।
विश्व स्वास्थ्य संगठन की रिपोर्ट के अनुसार दुनिया भर में लगभग 1.10 लाख से 2.10 लाख के मामले हर साल होते हैं। 1.21 लाख से 1.61 लाख टाइफाइड से ग्रसित लोगों की मौत हर साल होती है।
क्या है टाइफाइड

टाइफाइड बुखार भारत में अधिक प्रमाण में पाया जाने वाला एक खतरनाक संक्रामक रोग है। इसे मियादी बुखार के नाम से भी जाना जाता है। यह रोग दूषित पानी या भोजन के सेवन से, जिसमें साल्मोनेला टाइफी बैक्टीरिया के संक्रमण से होता हैं। टाइफाइड का जीवाणु मनुष्यों के आंतों और रक्त प्रवाह में रहता है। यह एक संक्रमित व्यक्ति के मल के सीधे संपर्क में आने से लोगों में फैलता है। इसका बैक्टीरिया मुंह में प्रवेश करता है और लगभग 1-2 सप्ताह तक आंत में रहता हैं। उसके बाद यह आंतों की दीवार से होते हुये खून में चला जाता हैं। खून के माध्यम से यह अन्य ऊतकों और अंगों में फैल कर बीमारी फैलाता हैं।
टाइफाइड के क्या है कारण

साल्मोनेला टाइफी बैक्टीरिया से संक्रमित व्यक्ति मल त्यागने या पेशाब करने के बाद यदि अपने हाथों को नहीं धोता है और भोजन व पानी को उसी हाथ से छूता है, तो बैक्टीरिया भोजन व पानी में आ जाता है। अगर वह भोजन व पानी कोई दूसरा व्यक्ति खाता व पीता है, तो वह व्यक्ति भी इसके बैक्टीरिया से संक्रमित हो जाता है। इसके अलावा संक्रमित व्यक्ति के मल के खाद से उगाई गई सब्जी को कच्चा खाने से भी टाइफाइड फैलता है।
क्या है लक्षण

टाइफाइड के बुखार के लक्षणों में व्यक्ति को संक्रमण होने के कुछ दिनों बाद इस बीमारी का लक्षण प्रकट होते हैं।
इसमें व्यक्ति को पहले हल्का बुखार बाद में तेज बुखार आना
बच्चों में इस बीमारी की वजह से प्रतिदिन बुखार होता है, जो हर दिन कम होने की बजाए बढ़ता रहता हैं। इसके अलावा बच्चों को इस बीमारी से पीड़ित होने पर उन्हें दस्त की भी समस्या होने लगती है। जिला अस्पताल के डॉक्टर अमित चतुर्वेदी, वरिष्ठ परामर्शदाता ने बताया कि टाइफाइड बुखार गंदे पानी का सेवन करने से फैलता है। उन्होंने बताया कि इस समय ओपीडी में अगर 50 मरीज बुखार के आ रहे हैं, तो लगभग 15 से 20 मरीज टाइफाइड के हैं और इसका बुखार एक हफ्ते से लेकर 10 दिन तक रहता हैं। ऐसे में व्यक्तियों को इस बीमारी से बचाव के लिए पानी उबाल कर पीना चाहिए। खाना खाने से पहले हाथ धोकर खाये, घर का बना खाना खाये, बाहर की चीजें न खाये तथा साफ- सफाई का विशेष ध्यान रखे और डॉक्टर के परामर्श के अनुसार दवा खाएं।
सही समय पर इलाज जरूरी

इसके अलावा उन्होंने बताया कि यदि मरीज सही समय पर इलाज नहीं करवाता है, तो मरीज की आतों में छेद होने की संभावना बढ़ जाती है। साथ ही दिमाग का बुखार और आंतों में छाले होने की संभावना भी हो सकती है, जिसकी वजह से मरीज की जान भी जा सकती है।

Home / Lalitpur / बढ़ रहा है टाइफाइड का प्रकोप, एक साल में बढ़े 278 मरीज

loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो