इस गठबंधन में भारत की आप्ती इंस्टीट्यूट, ऑल इंडिया आईटी और आईटीईएस एम्प्लॉइज यूनियन, अमेजन एम्प्लॉइज फॉर क्लाइमेट जस्टिस, प्रोग्रेसिव इंटरनेशन और यूएनआई ग्लोबल यूनियन आदि शामिल हैं। ब्लैक फ्राइडे की लॉन्चिंग पर इस गठबंधन ने मांग की है कि अमेजन अपनी नीतियों में बदलाव करे और सरकारें कार्यस्थल को बेहतर बनाने के लिए अपने कानूनों में बदलाव करें। अमेजन के सभी वेयरहाउस में कर्मचारियों का वेतन बढ़ाया जाए और व्यस्त समय के लिए उनका प्रीमियम पे भी बढ़ाया जाए।
गठबंधन ने मांग की है कि अमेजन को उन देशों में पूरा टैक्स चुका कर समाज को वापस भी लौटाना चाहिए, जहां उसकी वास्तविक आर्थिक गतिविधियां होती हैं। साथ ही टैक्स हेवन कहे जाने वाले देशों में टैक्स बचाकर अपना प्रॉफिट बढ़ाने और नियमों में खामियों का फायदा उठाया जाता है, उसे अपने टैक्स को लेकर पूरी पारदर्शिता बरतनी चाहिए।
गठबंधन ने अपनी वेबसाइट पर कहा कि जैसा कि अमेजन के कॉर्पोरेट साम्राज्य का विस्तार होता जा रहा है। लिहाजा, इसका कार्बन फुटप्रिंट भी बढ़ रहा है, जो दुनिया के कुल कार्बन फुटप्रिंट का दो तिहाई से भी बड़ा है। अमेजन की बढ़ती डिलीवरी और क्लाउड कंप्यूटर व्यवसाय वैश्विक जलवायु को तेजी से नुकसान पहुंचा रहा है।
गठबंधन ने मांग की कि अमेजन वर्ष 2030 तक शून्य उत्सर्जन का वादा करे। यह भी कहा गया है कि कोविड-19 महामारी के दौरान, अमेजन ट्रिलियन-डॉलर कॉर्पोरेशन बन गया है, जिसमें इसके सीईओ जेफ बेजोस व्यक्तिगत धन के तौर पर 200 अरब डॉलर जमा करने वाले इतिहास के पहले व्यक्ति बन गए हैं।
2019 में कंपनी ने द क्लाइमेट प्लेज की सह-स्थापना की है, जो कि 2040 तक अपने कारोबार में शून्य कार्बन उत्सर्जन लाने की प्रतिबद्धता जताई है। एक मीडिया रिपोर्ट में अमेजन की प्रवक्ता लिसा लेवांडोव्स्की के हवाले से कहा गया है कि हम अपने कुल वेतन और लाभों के तथ्यों की तुलना करने में रुचि रखने वालों को प्रोत्साहित करते हैं। साथ ही साथ इस संकट के समय में हमारी गति को प्रबंधित करने में देशभर के अन्य खुदरा विक्रेताओं और प्रमुख नियोक्ताओं को भी प्रोत्साहित करते हैं।