आज क्या करें क्या न करें गुरुवार को दक्षिण दिशा में यात्रा नहीं करनी चाहिए यदि ज्यादा आवश्यक हो तो घर से सरसों के दाने या जीरा खाकर निकलें। इस तिथि में तैलीय चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए और यह तिथि यात्रा, पितृ कर्म, मंगल कार्य आदि के लिए शुभ है।
आज के शुभ मुहूर्त अभिजीत मुहूर्त – 11.32AM से 12.15PM तक अमृत काल मुहुर्त – 11.48AM से 01.34PM तक विजय मुहूर्त – 01.40PM से 02.23PM तक गोधूलि बेला – 05.02PM से 05.26PM तक
निशीथ काल – 11.27PM से 00.20 AM (26 नवंबर) तक शुभ योग रवि योग – 06.50PM से 06.42AM (26 नवंबर) गुरु पुष्य योग – 06.33AM से 06.50PM सर्वार्थ सिद्धि योग – 06.33AM से 06.50PM
अमृत सिद्धि योग – 06.33AM से 06.50PM द्विपुष्कर योग – नहीं त्रिपुष्कर योग – नहीं आज के अशुभ मुहूर्त- गुलिक काल – 09.13AM से 10.33AM तक यमगंड – 06.33AM से 07.53AM तक
दुर्मुहूर्त – 1. 10.07AM से 10.49AM तक 2. 02.23PM से 03.05PM तक आज का राहुकाल लखनऊ- 01.13PM से 02.33PM तक वाराणसी – 01.06PM से 02.26PM तक गोरखपुर – 01.03PM से 02.23PM तक
प्रयागराज – 01.10PM से 02.31PM तक कानपुर – 01.16PM से 02.36PM तक आगरा – 01.25PM से 02.44PM तक मथुरा – 01.26PM से 02.46PM तक दिल्ली – 01.27PM से 02.46PM तक
चंड़ीगढ़ – 01.28PM से 02.46PM तक भोपाल – 01.29PM से 02.51PM तक राहु काल क्या है? राहु काल या राहु कलाम दिन का सबसे प्रतिकूल समय है, जब कुछ भी शुभ करते हैं, तो कभी भी अनुकूल परिणाम नहीं देते हैं। ज्योतिषी हमेशा शुभ मुहूर्त की गणना करते हुए, दिन के इन 90 मिनटों को छोड़ देते हैं।
यमगंडम का क्या अर्थ है या यमगंड काल? यमगंडम का अर्थ है मृत्यु का समय, या मौत का समय। यमगंडम मुहूर्त के दौरान केवल मृत्यु अनुष्ठान और समारोह किए जाते हैं। इस समय में शुरू की गई कोई भी गतिविधि कार्य या उससे जुड़े अन्य पहलुओं को निराश करती है। इसलिए, यमगंडम मुहूर्त के दौरान की गई गतिविधियाँ विफलता में समाप्त होती हैं या अंतिम परिणाम अक्सर बहुत अनुकूल नहीं होता है। हमेशा सलाह दी जाती है कि इस दौरान धन या यात्रा से संबंधित महत्वपूर्ण गतिविधियाँ शुरू न करें।
राहु काल समय में क्या करें? नया व्यवसाय या आयोजन शुरू करने के लिए राहु काल को शुभ नहीं माना जाता है। हालांकि, शुभ मुहूर्त में पहले से शुरू होने वाली दैनिक गतिविधियों को जारी रखने में कोई समस्या नहीं है। राहु काल में नहीं की जाने वाली चीजों में शामिल हैं- विवाह संस्कार, गृहप्रवेश, पूजा और अनुष्ठान, एक नया व्यवसाय शुरू करना, और अन्य शुभ कार्य।
जब आप राहु काल के दौरान किसी शुभ घटना से बच नहीं सकते तो क्या करें? ऐसी स्थितियों में जब आप राहु काल के दौरान महत्वपूर्ण कार्यों को करने से बच नहीं सकते हैं, तो यह सलाह दी जाती है कि भगवान हनुमान को पंचामृत और गुड़ अर्पित करें और हनुमान चालीसा का पाठ करें। शुभ काम शुरू करने से पहले इस प्रसाद का सेवन करने से राहु के हानिकारक प्रभाव दूर रहेंगे।