डा. सूर्यकान्त को मिला राष्ट्रीय मानद प्रोफेसर सम्मान,निभाई अपनी जिम्मेदारी
Honorary Professor Honors राष्ट्रीय एवं अर्न्तराष्ट्रीय जनरल्स में प्रकाशित हो चुके हैं। इसके साथ ही दो अंतर्राष्ट्रीय पेटेन्ट का भी उनके नाम श्रेय जाता है।
डा. सूर्यकान्त को मिला राष्ट्रीय मानद प्रोफेसर सम्मान,निभाई अपनी जिम्मेदारी
लखनऊ, (Honorary Professor Honors)किंग जार्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय के रेस्परेटरी मेडिसिन विभाग के अध्यक्ष प्रोफेसर सूर्यकान्त को आईएमए हेडक्वार्टर दिल्ली द्वारा आईएमए – कॉलेज ऑफ जनरल प्रैक्टिसनर्स (सीजीपी) के मानद प्रोफेसर सम्मान से सम्मानित किया गया है । (Honorary Professor Honors) डा. सूर्यकान्त केजीएमयू के रेस्पिरेटरी मेडिसिन विभाग में 16 वर्ष से प्रोफेसर के पद पर कार्यरत हैं एवं 10 वर्ष से विभागाध्यक्ष के पद सक्रिय भूमिका निभा रहे हैं । (Honorary Professor Honors) इसके अलावा वह चिकित्सा विज्ञान सम्बंधित विषयों पर 17 किताबें भी लिख चुके हैं तथा एलर्जी, अस्थमा, टीबी एवं कैंसर के क्षेत्र में उनके अब तक लगभग 700 शोध पत्र राष्ट्रीय एवं अर्न्तराष्ट्रीय जनरल्स में प्रकाशित हो चुके हैं। इसके साथ ही दो अंतर्राष्ट्रीय पेटेन्ट का भी उनके नाम श्रेय जाता है।
(Honorary Professor Honors) तथा लगभग 200 एमडी,पीएचडी विद्यार्थियों का मार्गदर्शन, 50 से अधिक परियोजनाओं का निर्देशन, 18 फेलोशिप्स, 10 ओरेशन एवार्ड का भी श्रेय उनके नाम ही जाता है। ज्ञात रहे उन्हें अब तक अन्तरराष्ट्रीय, राष्ट्रीय एवं प्रदेश स्तर की विभिन्न संस्थाओं द्वारा लगभग 140 पुरस्कारों से सम्मानित किया जा चुका है। (Honorary Professor Honors) यह पुरस्कार उनके द्वारा चिकित्सा शिक्षक के रूप में विगत 25 वर्षों से उनके द्वारा किये गये अध्यापन एवं शोध के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य करने एवं कोरोना महामारी के दौरान समाज को जागरूक करने एवं सामाजिक सेवा कार्यों के चलते प्रदान किया गया है ।
(Honorary Professor Honors) डा. सूर्यकान्त आईएमए, लखनऊ के अध्यक्ष एवं उप्र आईएमए एकेडमी ऑफ मेडिकल स्पेशलिटीज के चेयरमैन रह चुके है एवं वर्तमान में आईएमए-एएमएस के राष्ट्रीय वायस चेयरमैन हैं | साथ ही ज्ञात रहे कि डा. सूर्यकान्त कोविड टीकाकरण के लिए राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के ब्रांड एंबेसडर भी हैं। (Honorary Professor Honors) इसके साथ ही चेस्ट रोगों के विशेषज्ञों की राष्ट्रीय संस्थाओं इण्डियन चेस्ट सोसाइटी, इण्डियन कॉलेज ऑफ एलर्जी, अस्थमा एण्ड एप्लाइड इम्यूनोलॉजी एवं नेशनल कालेज ऑफ चेस्ट फिजिशियन (एनसीसीपी) के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष रह चुके हैं। तथा इण्डियन साइंस कांग्रेस एसोसिएशन के मेडिकल साइंस प्रभाग के भी राष्ट्रीय अध्यक्ष रह चुके हैं।
(Honorary Professor Honors) डॉ. सूर्यकान्त को पहले भी अमेरिकन कॉलेज ऑफ चेस्ट फिजिशियन, इण्डियन मेडिकल एसोसिएशन, इण्डियन चेस्ट सोसाइटी, नेशनल कालेज ऑफ चेस्ट फिजिशियन आदि संस्थाओं द्वारा राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय स्तर पर 18 फैलोशिप सम्मान से भी सम्मानित किया जा चुका है। (Honorary Professor Honors) उन्हें उप्र सरकार द्वारा विज्ञान गौरव अवार्ड (विज्ञान के क्षेत्र में उप्र का सर्वोच्च पुरस्कार) और केन्द्रीय हिन्दी संस्थान, आगरा एवं उप्र हिन्दी संस्थान से भी सम्मानित किया जा चुका है।
(Honorary Professor Honors) वह पिछले 25 वर्षों से अधिक समय से अपने लेखों व वार्ताओ एवं टी.वी. व रेडियो के माध्यम से लोगो में एलर्जी, अस्थमा, टी.बी, कैंसर जैसी बीमारी से बचाव व उपचार के बारे में जागरूकता फैला रहे है एवं इस महामारी काल में जनमानस को कोरोना जैसी घातक बीमारी के बारे में इलेक्ट्रानिक,प्रिंट,सोशल मीडिया के द्वारा जागरूक करते रहे हैं तथा डा. सूर्यकान्त ने कोरोना से पीड़ित ग्रामीण लोगों के लिए एक सरल व सुगम चिकित्सा प्रोटोकॉल तैयार किया एवं स्वयंसेवी संस्थाओं के माध्यम से दवाएं बंटवाकर हजारों लोगों की जान बचाई। (Honorary Professor Honors) डा. सूर्यकान्त को उप्र शासन द्वारा कोविड से प्रभावित जनपदों जैसे- आगरा, कानपुर, मेरठ व वाराणसी आदि शहरों में कोविड की समीक्षा, सुरक्षा व एवं सुधार के लिये भेजा जा चुका है।
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