देश भर में फैला है रैकेट यूपी साइबर सेल ने पैन इंडिया फर्जी आरटीओ रैकेट का खुलासा किया है। इस रैकेट के तार उत्तरप्रदेश के आगरा से शुरू होकर मध्यप्रदेश राजस्थान, दिल्ली, हरियाणा, उत्तराखंड, महाराष्ट्र तक जुड़े पाए गए हैं। इन जगहों पर छापेमारी और जांच जारी है। इन स्थानों पर गिरोह के अन्य सदस्यों की खोज जारी है।
हरियाणा बार्डर पर खुला था फर्जी आरटीओ बूथ फर्जी आरटीओ बूथ बनाकर ठगी करने वाले गैंग वे हरियाणा बार्डर पर फर्जी बूथ खोल रखा था। फर्जी वेबसाइट के माध्यम से रसीद काटी जा रही थी। अलग-अलग आरोपी वेबसाइट में एडमिन बने थे। 10 जुलाई को आवास विकास कॉलोनी के सेक्टर चार निवासी पुनीत पाराशर ने रेंज साइबर सेल में शिकायत दर्ज कराई थी। शिकायत में कहा था कि कोसी बॉर्डर पर ऑनलाइन आरटीओ टैक्स के नाम पर बूथ खोलकर वाहन चालकों से धोखाधड़ी की जा रही है। उन्हें फर्जी वेबसाइट के माध्यम से रसीद दी जा रही है। शिकायत पर मुकदमा दर्ज किया गया। रेंज साइबर थाना की पुलिस ने छापा मारकर चार आरोपियों को गिरफ्तार किया।
मोबाइल पर आता था एसएमएस पुलिस की पूछताछ में पता लगा कि यह लोग फर्जी वेबसाइट से एक रसीद निकालते थे। वाहन चालक के मोबाइल पर एक मैसेज आता था, जिस कारण से लोग इसे असली समझ लेते थे। वह हर प्रकार के वाहनों का रोड टैक्स जमा करने की बात करते थे। इसके लिए अपनी फीस लेते थे। इनमें कोसी निवासी बलवीर गिरोह का सरगना है। वह सुपर एडमिन भी था। उसने अलग-अलग प्रदेश के टैक्स के लिए अलग-अलग साथी को एडमिन बनाया था। दिन में कटने वाली रसीद का विवरण बलवीर के पास आता था। पुलिस इस वजह से चेकिंग नहीं करती है कि आरोपी अपने बूथ के बोर्ड पर ऑनलाइन आरटीओ टैक्स लिखते थे। इससे लगता था कि निजी लोगों को टैक्स जमा करने के लिए ठेका दिया है।
चार आरोपी गिरफ्तार पुलिस ने मथुरा निवासी राजेंद्र उर्फ राजू, कोटवन निवासी प्रेम सिंह, मोनू और हरियाणा के पलवल निवासी हर्ष मित्तल को गिरफ्तार किया है। इनके पास से एक लैपटॉप, चार मोबाइल, वेबसाइट, 10,840 रुपये बरामद किए गए हैं। वहीं कोसी निवासी प्रकाश, महेंद्र और पलवल निवासी संदीप और धीरज फरार हैं। वहीं सरगना बलवीर भी पुलिस की गिरफ्त से बाहर हैं।