एलएमआरसी ने 18 जनवरी, 2017 को सचिवालय से अपनी पहली भूमिगत (टनल) ड्राइव शुरू की थी और चारबाग से हजरतगंज के बीच 3.67 किमी लम्बी मेट्रो सुरंग को जून, 2018 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया था। फ़िलहाल ये कार्य दो महीने पहले कर लिया है।
हुसैनगंज भूमिगत स्टेशन -302 मीटर
सचिवालय स्टेशन – 278 मीटर
हजरतगंज भूमिगत स्टेशन -529 मीटर
कुल प्रोजेक्ट -3.67 किमी काम नहीं था आसान, ऑक्सीजन की रहती थी कमी
ज़मीन से 18 मीटर नीचे होने के चलते ऑक्सीजन का लेवल कम रहता था। इसकी वॉल्यूम 20.9 मिलीग्राम पैरा मीटर क्यूब रखने के लिए आर्टिफीसियल कंप्रेसर के ज़रिये हवा टनल में पहुंचाई जाती है। ये कार्य आसान नहीं था क्योंकि वॉल्यूम कम होने से कर्मचारी बेहोश हो सकते हैं।
गंगा और गोमती दोनों ही टनल बोरिंग मशीन फुल्ली आटोमेटिक है। इन्होने जीआईएस सिस्टम के सहारे टनल बनाने का कार्य पूरा किया है। जीआईएस सिस्टम में लोंगिट्यूड और लैटीट्यूड के सहारे काम किया जाता है। औसत तौर पर एक दिन में 8.4 मीटर सुरंग खोदी जाती है।