शहर में बढ़ रहे कोविड संक्रमण को देखते हुए महिलाएं भी सतर्क हो गई हैं। अपने और परिवार की सुरक्षा का ख्याल रखते हुए बच्चों को घर से बाहर निकलने पर पूरी तरह रोक लगा दी है। बाजार से लाई गई चीजों के इस्तेमाल को लेकर भी एहतियात बरती जा रही है। बच्चों के खानपान पर भी ध्यान दिया जा रहा है। गुनगुना पानी, काढ़ा के अलावा प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाली चीजें ही खाई जा रही हैं।
बच्चों में अनुशासन जरूरी लखनऊ से तेजस्विनी सिंह कहती हैं कि यह वक्त मुश्किल दौर का है। अपने साथ-साथ बच्चों का ख्याल रखना भी जरूरी है। तेजस्विनी सिंह मूल रूप से बिजनल वुमन हैं। बिजनस संबंधित कई सारे काम वह घर से ही करती हैं। घर में 8 साल का एक छोटा बच्चा है जिसका सबसे ज्यादा ध्यान रखना पड़ता है। तेजस्विनी ने कहा कि संक्रमण तेजी से बढ़ रहा है। इसलिए बच्चों के साथ सतर्कता बरतने व उन्हें सुरक्षित रखने पर विशेष ध्यान देना पड़ रहा है। बेटा बाहर जाता है तो लौटने पर कपड़े बदलाकर सैनिटाइज करती हूं ताकि घर में कोरोना न प्रवेश कर सके। खाने-पीने में इम्यूनिटी बढ़ाने वाली चीजों का ज्यादा इस्तेमाल करती हूं। तेजस्विनी कहती हैं कि बच्चों में अनुशान होना बहुत जरूरी है। उन्होंने कहा कि हेल्दी खाने के साथ ही वह बेटे को व्यायाम भी कराती हैं। उनका बेटा अभी छोटा है लेकिन वह उसे रोजाना अपने साथ 15 मिनट योगासन कराती हैं, जिससे कि वह छोटी उम्र में ही सेहत को लेकर अनुशासित हो जाए।
फिटनस पर देती हैं ध्यान तेजस्विनी की ही तरह वाराणसी की किरण यादव भी अपने बच्चों का खास ध्यान रखती हैं। किरण ने कहा कि कोरोना काल में बच्चों की सेहत का ध्यान रखना बहुत जरूरी है। खासकर अगर घर में छोटे बच्चे हों। उनकी दो जुड़वा बेटियां हीनल और हेतल हैं। उनकी उम्र चार साल है। किरण ने बताया कि सर्दी, खासी और जुकाम होने पर घरेलू उपचार करके ठीक करने का प्रयास करती हैं। बच्चों को काढ़ा और वेजिटेबल सूप पिलाकर उनके खाने पीने का ध्यान रखती हैं।