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जिला अस्पताल में डॉक्टरों की कमी को ‘जुगाड़ पद्धति का सहारा

जिला अस्पताल में डॉक्टरों की कमी को ‘जुगाड़ पद्धति का सहारा

मंदसौरJan 05, 2019 / 04:37 pm

harinath dwivedi

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जिला अस्पताल में डॉक्टरों की कमी को ‘जुगाड़ पद्धति का सहारा

मंदसौर । जिला अस्पताल में डॉक्टरों की कमी को अस्पताल प्रबंधन जुगाड़ पद्धति से पूरा करने का प्रयास कर रहा है। चाहे डायलिसिस यूनिट हो, मेडिकल वार्ड हो या ओपीडी। हांलाकि आने वाले दिनों में डॉक्टरों की कमी ओर बड़ा रूप लेगी। जिला अस्पताल में मेडिकल विशेषज्ञ डॉ विक्रम अग्रवाल के नौकरी छोडऩे के बाद अब जिला अस्पताल के प्रशासन ने जुगाड़ पद्धति अपना ली है। सिविल सर्जन द्वारा तीन डॉक्टरों को दो-दो दिन मेडिकल वार्ड की जिम्मेदारी तय कर दी है।लेकिन यह पद्धति फरवरी में ओर बड़ा रूप लेगी तब जब हड्डी रोड विशेषज्ञ डॉ केसी श्रीमाल रिटायर्डहोगें। डॉक्टरों की कमी को दूर करने के लिए सिविल सर्जन ने हेल्थ कमिश्रर से लेकर अन्य आलाअधिकारियों को लिखा है। वहीं दूसरी ओर लंबे अवकाश पर चल रहे मेडिकल विशेषज्ञ डॉ डीके शर्मा के खिलाफ कार्रवाईको लेकर भी लिखा है।
सर्जिकल स्पेशलिस्ट ने भी दिया था इस्तीफा, लिया वापस
जिला अस्पताल से मिली जानकारी के अनुसार काम की अधिकता से वर्तमान में कई डॉक्टर परेशान है। क्योंकि डॉक्टरों की बहुत अधिक कमी जिला अस्पताल में है।मेडिकल विशेषज्ञ डॉ विक्रम अग्रवाल के बाद सिर्फ एक ही मेडिकल विशेषज्ञ डॉ डीके शर्मा जिला अस्पताल में है। जो वर्तमान में अवकाश पर है। वहीं सर्जिकल स्पेशलिस्ट डॉ अजय गुलाटी ने भी पहले इस्तीफा दियाथा। लेकिन बाद में उसे वापस लिया गया।
शिशु रोग विशेषज्ञ को भी दी मेडिकल वार्ड की जिम्मेदारी
वर्तमान में मेडिकल विशेषज्ञ के जिला अस्पताल में नहीं हेाने पर सिविल सर्जन डॉ अधीर मिश्रा ने शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ केएल राठौर, डॉ देवेंद्र पीपल और डॉअरविंद वर्मा को दो-दो दिन के लिए मेडिकल वार्डकी जिम्मेदारी दे रखी है। ऐसे ही डायलसिस यूनिट के लिए भी डॉ निशांत शर्मा को पिपलियामंडी में पदस्थ होने के बाद भी यहां की जिम्मेदारी दे रखी है।
१५ डॉक्टरों की पदस्थापना हुईएक भी नहीं किया ज्वाइन
जिला अस्पताल से मिली जानकारी के अनुसार जिला अस्पताल में १५ डॉक्टरों की नियुक्तियां हुई थी। इसमें छह एमडी मेडिसिन फिजिशियन डॉक्टर शामिल है। लेकिन एक भी डॉक्टर ने जिला अस्पताल में ज्वाइन नहीं किया।यदि यह सभी डॉक्टर जिला अस्पताल में ज्वाइन कर लेते तो कुछ हद तक डॉक्टरों की कमी दूर हो जाती।डॉक्टर नहीं होने पर डॉक्टरों पर अतिरिक्त लोड है।
इनका कहना….
मेडिकल वार्ड की तीन डॉक्टरों को दो-दो दिन जिम्मेदारी दी है।मेडिकल विशेषज्ञ डॉडीके शर्मा को नोटिस दिए है। उन पर कार्रवाई के लिए हेल्थ कमिश्रर को लिखा गया है। कार्य की अधिकता से डॉक्टर नौकरी छोड़ रहे है।यदि जिन १५ डॉक्टरों के अपाइमेंट हुए थे। वे ज्वाइन कर लेते तो समस्या काफी हद तक दूर हो जाती।पहले डॉ गुलाटी ने भी इस्तीफा दे दिया था।उनसे बात की उसके बाद उन्होंने वापस लिया।
डॉ अधीर मिश्रा, सिविल सर्जन जिला अस्पताल।

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