पुलिस की तस्करों पर भारी, आबकारी विभाग नहीं समझ रहा जिम्मेदारी
पुलिस की तस्करों पर भारी, आबकारी विभाग नहीं समझ रहा जिम्मेदारी
मंदसौर.
जिले में मादक पदार्थों की तस्करी और अवैध शराब का खेल भी हो रहा है। इन तस्करों और शराब माफियाओं को पकडऩे के लिए जितनी जिम्मेदारी पुलिस की है। उतनी ही जिम्मेदारी आबकारी विभाग की है। लेकिन कार्रवाईयों के आंकड़े देखे तो ऐसा लगता है कि मादक पदार्थों के तस्करों को पकडऩे की जिम्मेदारी आबकारी विभाग के अधिकारी समझ नहीं पा रहे है। पिछले दो साल का आंकड़े आबकारी विभाग से एनडीपीएस एक्ट में की गई कार्रवाईयों की जानकारी मांगी तो आश्चर्यचकित कर देने वाले आंकड़े दिए। विभाग द्वारा बताया गया कि एक भी कार्रवाई एनडीपीएस एक्ट के तहत नहीं की गई। वहीं अवैध शराब पर कार्रवाई के आंकड़े मांग तो सामने आया कि इस साल पुलिस से करीब ४५ फीसदी कम कार्रवाई आबकारी विभाग ने की है। ऐसे में अंदाजा लगाया जा सकता है कि कितनी गंभीरता से आबकारी विभाग वर्तमान में काम कर रहा है।
आबकारी विभाग क ी कार्रवाईयां कर रही बंया
आबकारी विभाग से मिली जानकारी के अनुसार सन् २०१८-१९ में आबकारी विभाग द्वारा ११८३ प्रकरण दर्ज किए है। इस वर्ष आबकारी विभाग द्वारा एक भी कार्रवाई डोडाचूरा, स्मैक, अफीम तस्करों पर नहीं की गई। २०१९-२० में आबकारी विभाग द्वारा ६०४ शराब के प्रकरण दर्ज किए गए। वहीं इस साल भी गत साल की भांति विभाग द्वारा एक भी कार्रवाई एनडीपीएस एक्ट के तहत नहीं की गई।
पुलिस ने किया आबकारी से अधिक काम
पुलिस विभाग की कार्रवाई का आंकड़ा देखे तो आबकारी विभाग से ठीक विपरीत है। विभाग द्वारा लगातार इन तस्करों पर कार्रवाईयां की जा रही है। इस साल २०१९ में करीब ७५ से अधिक कार्रवाई पुलिस विभाग कर चुका है। और अवैध रूप शराब पर करीब ११६९ प्रकरण पंजीबद्ध कर लिए है। जिसमें ११८५ आरोपी और १६ हजार ३७७ लीटर शराब जप्त की है। वहीं गत साल एनडीपीएस एक्ट के तहत १५० प्रकरण पंजीबद्ध किए थे और शराब में एक हजार १० प्रकरण दर्ज कर १०१८ आरोपी को गिरफ्तार कर २६ हजार ६०९ लीटर शराब जप्त की थी।
मुखबिर तंत्र नहीं कर रहा आबकारी का काम
आबकारी विभाग को अवैध मादक पदार्थों की तस्करी को रोकने के लिए जिस तीसरे तंत्र की महत्वपूर्ण आवश्यकता है। वह सबसे कमजोर है। मुखबिर तंत्र कमजोर है। लेकिन दूसरी ओर शराब की कार्रवाईयां होना। जिसमें मुखबिरों की सूचना पर भी कार्रवाई की गई। ऐसे में एनडीपीएस एक्ट को लेकर ही मुखबिर तंत्र कमजोर होना समझ से परें है।
इनका कहना…..
अवैध शराब पर कार्रवाईयां की जा रही है। एनडीपीएस एक्ट में सूचना नहीं मिलने के कारण कार्रवाईयां नहीं हो पा रही है। इसमें भी कार्रवाई के लिए विभाग प्रयास करेगा।
ब्रजेंद्र कौरी, जिला आबकारी अधिकारी।
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