नई दिल्लीPublished: Jul 01, 2018 03:00:03 pm
Saurabh Sharma
वित्त मंत्री ने बताया कि जीएसटी की मदद से ग्रोथ बढ़ रहा है क्योंकि अलग-अलग टैक्स और सेस को हटा दिया गया है और इस साल का जीएसटी कलेक्शन 13 लाख करोड़ रुपए हो सकता है।
जीएसटी कलेक्शन बढ़ने के बाद सरकार ने दिए जीएसटी की दरों को कम करने के संकेत
नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने आने वाले दिनों में जीएसटी कलेक्शन बढ़ने के बाद जीएसटी की दरों को कम करने के संकेत दिए हैं। सरकार द्वारा जारी अांकड़ों के अनुसार इस बार का जीएसटी कलेक्शन 1 लाख करोड़ रुपए के स्तर को पार कर गया है। जीएसटी रेट्स को कम करने का मुख्य कारण जीएसटी कलेक्शन का 1 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा होना भी बताया जा रहा है। इस पर वित्त मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि अगर आने वाले महीनों में जीएसटी रेवेन्यू में बढ़ोत्तरी होती है तो तो सरकार इसका लाभ उपभोक्ताओं को देगी।
साल में हो सकता है 13 लाख करोड़ रुपए का कलेक्शन
उन्होंने कहा कि रेवेन्यू के बढ़ने से फिस्कल डेफिसिट घटेगा और इन्फ्रास्ट्रकचर में अधिक से अधिक निवेश हो पाएगा। वित्त मंत्री ने बताया कि जीएसटी की मदद से ग्रोथ बढ़ रहा है क्योंकि अलग-अलग टैक्स और सेस को हटा दिया गया है और इस साल का जीएसटी कलेक्शन 13 लाख करोड़ रुपए हो सकता है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि ई-वे बिल का डेटा आने के बाद कुछ वृद्धि और राहत मिलने की संभावना है।
सीमेंट और पेंट पर भी रेट कम होने की उम्मीद
जूलाई 2017 के बाद से सरकार ने करीब 320 सामान पर रेट कम कर दिए हैं और इनमें से अधिकतर सामान 28 फीसदी वाले स्लैब में आते हैं। इसके साथ ही सीमेंट और पेंट पर भी रेट कम होने की जल्द उम्मीद है। अरुण जेटली ने भी जीएसटी कलेक्शन अधिक होने के फायदे गिनाए थे। साथ ही चीफ इकनॉमिक अडवाइजर अरविंद सुब्रमण्यन ने भी 28 फीसदी वाले स्लैब को हटाने की बात कही थी।
आसान बनार्इ जाएगी प्रक्रिया
बता दें कि जीएसटी को लागू हुए आज एक साल पूरा हो गया है। कुछ छोटे व्यापारियों द्वारा जीएसटी के जटिल होने की शिकायत करने पर पीयूष गोयल ने कहा कि शुरुआती खामियों के बाद आईटी सिस्टम को मदद के लिए रखा गया है। साथ ही उन्होंने कहा कि इसे और भी आसान बनाने की कोशिश की जाएगी।