सोमवार को अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर शक्ति एक आधार कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में सैकड़ों महिला और युवतियों ने हिस्सा लिया। खजानी के द्वारा महिलाओं को सम्मानित किया। सर्वप्रथम मुख्य अतिथि आईपीएस आरती सिंह ,कार्यक्रम अध्यक्ष डॉ शोभा पाठक, विशेष अतिथि श्रीमती सुषमा अग्रवाल, मुख्य वक्ता निधि शर्मा द्वारा दीप प्रज्वलित करके और मां सरस्वती का आवाहन करके कार्यक्रम का आरंभ किया गया तत्पश्चात सरस्वती वंदना की मनमोहक प्रस्तुति हुई। महिला दिवस के पृष्ठभूमि पर प्रकाश डालते हुए शिप्रा राठी ने बताया कि महिलाएं एक मां , पत्नी , बहन होती है परंतु सबसे पहले स्त्री होती है और उसे स्त्री की मर्यादा का ध्यान रखते हो उसे सदैव दूसरी स्त्री के लिए पूरक बनना चाहिए पर हमारी समाज की विडंबना है। स्त्री ही स्त्री की दुश्मन हो जाती है और समस्याएं शुरू हो जाती हैं जिस दिन हर नारी दूसरी नारी के लिए समर्थक होगी उस दिन किसी भी अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की आवश्यकता खत्म हो जाएगी। उन्होंने कहा कि देश में महिला और बेटियों के ऊपर रेप,हत्या और छेड़खानी जो वारदातें होती हैं वह बंद हो जाएगी उस दिन हमारा महिला दिवस पूरा होगा। महिला सशक्त और समृद्ध होगी। डॉ शोभा पाठक ने बेहद मार्मिक रूप में प्रस्तुत करके महिलाओं को विस्तृत स्वरूप प्रदान किया।
आईपीएस आरती सिंह ने कहा कि हर तबके की महिला बेहद हुनरमंद है और उन महिलाओं को अपने लिए मंच मिल जाएगा तो महिलाएं अपने आप सशक्त हो जाएंगी। व्यवसायिक शिक्षा महिलाओं को सशक्त करने का सबसे बड़ा हथियार है। सुषमा अग्रवाल ने कहा कि कठिनाइयां महिलाओं की राह का रोड़ा नहीं वरन उनकी सहन शक्ति को बढ़ाने का साधन है और महिलाओं को इन परेशानी से डरना नहीं होता बल्कि उनसे आगे बढ़कर अपने सपनों में उड़ान भरनी होती है।
विभिन्न क्षेत्रों में काम करने वाली 15 महिलाओं को भी सम्मानित किया गया। जिसमें डॉ. नीता सिंह, डॉ. चारू जैन, डॉ. शालिनी अग्रवाल, रश्मि खंडेलवाल, गीता नथानी, अनीता चावला, आस्था भारद्वाज, ममता भारद्वाज, भावना शर्मा, सोनिका शर्मा, पूजा शर्मा आदि रहे। इन सभी का सम्मान श्रीमती आभा महेश्वरी, रेनू, रूपा शर्मा, आयुषी मेहरोत्रा, अनीता सिंह, सुजाता , रिंकी, अंजू सिंह, नेहा गर्ग ने किया। सर्टिफिकेट वितरण का कार्य हर्षिता मोहिनी और मीनाक्षी ने किया गया। सफल संचालन छवी बंसल व मोनिका के द्वारा किया गया।
By – निर्मल राजपूत