प्रदर्शन करने वालों में मेरठ और आसपास के जिलों में किसानों व युवाओं, छात्रों व सपाइयों व युवजन सभा कार्यकर्ता शामिल थे। इस दौरान किसानों-छात्रों व युवाओं की पुलिस से तीखी नोकझोंक व भिड़ंत हुई। इसके बावजूद वह जबरन कलक्ट्रेट में ट्रैक्टर समेत घुस गए। कार्यकर्ताओं की आपस में भी भिड़ंत हुई। हालांकि प्रदर्शन के बाद सभी लोग यहां से वापस लौट गए।
किसानों और युवा कार्यकर्ताओं व छात्रों की मांग थी कि केंद्र सरकार द्वारा जारी तीनों समिति एक्ट एमआरपी का खात्मा आवश्यक वस्तु अधिनियम, कॉन्ट्रैक्ट फार्मिंग, अध्यादेश दोनों सदनों में व्यापक चर्चा के बाद लागू किया जाए। एमएसपी के लिए नया अध्यादेश लाया जाए। आरोप लगाया कि देश में कहीं भी कोई भी किसान सरकार द्वारा जारी न्यूनतम समर्थन मूल्य से नीचे अपनी फसल न बेचें।
कृषि यंत्र उर्वरक, कीटनाशक से जीएसटी खत्म हो, किसानों की संपूर्ण कर्जमाफी हो, किसानों को सभी प्रकार के ऋण न्यूनतम तीन फीसद ब्याज पर मुहैया कराए जाएं। इसके अलावा तीनों अध्यादेश के मूल्यांकन का अधिकार प्रशासन की बजाय न्याय पालिका को मिले। आदेशों का पुनर्मूल्यांकन हो। बिजली का बिल कोरोना काल के कारण माफ किया जाए।