ऑक्सफर्ड-एस्ट्राजेनेका के बनाए टीके ‘कोविशील्ड’ का फेज 3 ट्रायल चल रहा है। इसके अलावा भारत बायोटेक और इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) ने मिलकर Covaxin बनाई है। ये अभी फेज 2 ट्रायल में है। जायडस कैडिला की ZyCov-D भी फेज 2 ट्रायल में है।
कोरोना वैक्सीन पहले किन्हें दी जाएगी इसके लिए 4 श्रेणियों के लोगों की पहचान की गई है। केंद्र ने राज्य और केंद्र शासित प्रदेश की सरकारों के सहयोग से करीब 30 करोड़ प्राथमिकता प्राप्त लाभार्थियों की पहचान करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। शुरुआती चरण में डॉक्टरों, एमबीबीएस छात्रों, नर्सों और आशा कार्यकर्ताओं समेत लगभग एक करोड़ हेल्थकेयर वर्कर्स, स्वास्थ्य नगर निकाय कर्मियों, पुलिस और सशस्त्र बलों के कर्मिचारियों समेत करीब 2 करोड़ फ्रंटलाइन वर्करों, 50 साल से अधिक उम्र के लगभग 26 करोड़ लोगों और पहले से बीमारी से पीड़ित लोगों को वैक्सीन की डोज उपलब्ध कराई जाएगी।
सरकार ने नागरिकों के टीकाकरण के लिए करीब 50 हजार करोड़ रुपए का बजट रखा है।अनुमान है कि वैक्सीन की एक खुराक पर तकरीबन 6 से 7 डॉलर यानी करीब 400 से 500 रुपए की लागत आएगी। हालांकि, विशेषज्ञों के मुताबिक 1.3 अरब आबादी वाले देश में अगर थोक में वैक्सीन खरीदा जाए तो प्रति व्यक्ति दवाई की कीमत काफी कम आएगी।