scriptफानी चक्रवात: नई चेतावनी प्रणाली और बचाव दलों ने बचाई हजारों जानें | Fani Cyclone: New warning system, rescue teams save thousands of lives | Patrika News
विविध भारत

फानी चक्रवात: नई चेतावनी प्रणाली और बचाव दलों ने बचाई हजारों जानें

20 साल पहले आए सुपर साइक्लोन से 10 हजार जानें गई थीं।
भारत के पास आधुनिक चेतावनी प्रणाली नहीं हुआ करती थी।
मौसम विभाग ने पहले से ही फानी के बारे में सजग कर दिया।

नई दिल्लीMay 04, 2019 / 11:06 am

Manoj Sharma

Fani leads to heavy rain

फानी चक्रवात: नई चेतावनी प्रणाली और बचाव दलों ने बचाई हजारों जानें

नई दिल्ली। केवल छह महीने पहले ही गाजा चक्रवाती तूफान से तमिलनाडु में 40 लोगों की मौत हो गई थी, इसलिए जब मौसम विभाग ने फानी चक्रवात के पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश और ओडिशा के बड़े हिस्से को चपेट में लेने की भविष्यवाणी की, तो प्रशासन सजग हो गया। एनडीआरएफ, एयरफोर्स और नौसेना को अलर्ट कर दिया गया। बचाव टीमें बना दी गईं, ताकि तूफान के कहर से होने वाले नुकासन को कम से कम किया जा सके। अत्याधुनिक तकनीक पर आधारित नई चेतावनी प्रणाली ने इस काम में मदद की। प्रशासन ने बचाव कार्य के लिए जो टीमें बनाई थीं, चक्रवाती तूफान से हुए नुकसान को कम करने में उनकी भूमिका भी सराहनीय रही।
नई चेतावनी प्रणाली से वक्त रहते किया सजग

1999 में आए फानी साइक्लोन जैसे ही भयानक चक्रवाती तूफान सुपर साइक्लोन ने करीब 10 हजार लोगों की जान ले ली थी और हजारों को बेघर कर दिया था। अब भारतीय मौसम विभाग के पास अत्याधुनिक तकनीक से युक्त चेतावनी प्रणाली है, जिसकी मदद से वक्त रहते ही करीब 11 लाख लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचा दिया गया। केंद्र सरकार और राज्य सरकार के बीच भी बेहतर समन्वय देखने में आया। एयरफोर्स, नौसेना और एनडीआरएफ की सही समय पर तैनाती ने फानी चक्रवात से होने वाले नुकसान को सीमित कर दिया।
फानी की रफ्तार पहले से हुई कम

आप को बता दें कि फानी तूफान से अब तक 8 लोगों की मौत हो चुकी है। ओडिशा में 175 कि.मी. प्रतिघंटे की भयानक रफ्तार से तबाही मचाने के बाद फानी अब कुछ कमजोर होकर पश्चिम बंगाल की जनता के लिए परेशानी का सबब बना हुआ है। अभी भी फानी की रफ्तार 90 कि.मी. प्रतिघंटा है। चक्रवात के असर से ओडिशा और पश्चिम बंगाल के अनेक जिलों में मूसलाधार बरसात हो रही है।

Home / Miscellenous India / फानी चक्रवात: नई चेतावनी प्रणाली और बचाव दलों ने बचाई हजारों जानें

loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो