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ट्रंप ने अमरीकी-भारतीय नागरिक शिरीन मैथ्यूज पर विश्वास जताते हुए उन्हें अमरीका जिला न्यायालय के न्यायधीश के रूप में नियुक्त किया है। ट्रंप के इस फैसले को लेकर नेशनल एशियन पैसिफिक अमरीकन बार एसोसिएशन (NAPABA) में उनकी सराहना की जा रही है।
मैथ्यूज की नियुक्ति को लेकर NAPABA ने कहा है कि यदि इसकी पुष्टि हो जाती है तो, शिरीन मैथ्यूज संघीय न्यायाधीश के तौर पर काम करने वाली पहली एशियाई प्रशांत अमरीकी महिला और पहली भारतीय-अमरीकी होंगी।
कानूनी कंपनी जोन्स डे में पार्टनर हैं शिरीन मैथ्यूज
बता दें कि शिरीन मैथ्यूज मौजूदा समय में सैन डिएगो में अमरीका की पांचवीं सबसे बड़ी कानूनी कंपनी जोन्स डे में पार्टनर हैं।
शिरीन कंपनी में शामिल होने से पहले कैलिफोर्निया में अमरीका के अटॉर्नी कार्यालय में सहायक संयुक्त राज्य अटॉर्नी के तौर पर कार्य करती थीं।
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व्हाइट हाउस ने एक बयान जारी करते हुए कहा है कि सरकारी सेवा में आने से पहले, शिरीन मैथ्यूज सैन डिएगो में लेथम और वाटकिंस एलएलपी जो कि एक कानूनी कंपनी है, में सहयोगी के तौर पर कार्य कर रही थीं।
बता दें कि इससे पहले भी कई भारतीयों को ट्रंप ने बड़े-बड़े पदों पर नामित किया है। अमूल थापर को ट्रंप ने ओहियो में अपील अदालत में नामित किया गया था जिसके अंतर्गत चार राज्यों का अधिकार क्षेत्र आता है।
वहीं नेओमी राव और थापर ने संघीय अदालत के उम्मीदवार जे निकोलस रंजन के साथ सीनेट के सदस्य बने। जबकि डायने गुजराती और अनुराग सिंघल संघीय न्यायाधीश के उम्मीदवार के तौर पर सीनेट की मंजूरी का इंतजार कर रहे हैं।
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