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मुरादाबाद

सूरत के बाद अब यूपी के इस शहर में सड़कों पर आ गए सैकड़ों मजदूर, पुलिस के छूटे पसीने

Highlights -बिहार से आकर यहां होटलों और अन्य कारखानों में करते हैं मजदूरी -कई बार प्रशासन से घर भेजने की लगा चुके गुहार -आज सड़कों पर सामान सहित निकल आए -पुलिस-प्रशासन के मजदूरों के सड़क पर देख फूल गए हाथ-पांव

मुरादाबादMay 12, 2020 / 02:20 pm

jai prakash

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मुरादाबाद: प्रवासी मजदूरों को लेकर पूरे देश में संकट बढ़ता जा रहा है, लॉक डाउन के बाद से कोई समुचित व्यवस्था न बन पाने से ये यहां-वहां फंसे हुए हैं। कुछ ऐसा ही नजारा आज शहर के असलातपूरा में देखने को मिला। जब 400 से अधिक मजदूर बिहार भेजे जाने को लेकर सड़कों पर निकल आए। जिससे पुलिस-प्रशासन के हाथ पैर फूल गए। मजदूरों का कहना था कि उनका खाने-पीना का इंतजाम नहीं हैं, उन्हें उनके घर जाने दिया जाए। उधर प्रशासन ने ये कहकर मजदूरों को मनाया कि बिहार सरकार से वार्ता चल रही है, जल्द इंतजाम किया जाएगा। फ़िलहाल खाने की व्यवस्था कर दी गयी है।

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दो महीने से फंसे हैं
शहर के गलशहीद थाना क्षेत्र में बड़ी संख्या में बिहार और पूर्वी उत्तर प्रदेश के मजदूर मजदूरी करते हैं,कोरोना महामारी के चलते बीती 25 मार्च से लगातार लॉक डाउन होने से सभी कारोबार बंद हैं। जिसमें यहां चार सौ से ज्यादा मजदूर फंस गए हैं। चूंकि ये पूरा इलाका हॉटस्पॉट है तो यहां के लोगों का बाहर निकलना पूरी तरह मना है। इसलिए इन लोगों को निकलने नहीं दिया गया। यहां रहने वाले मजदूर इश्तियाक बताते हैं कि मजदूरी बंद हो गयी, खाने-पीने का इंतजाम नहीं हैं। हमें घर जाने दिया जाए। ये कहते-कहते वो रो आये।उनकी तरह ही कई और मजदूर भी अपनी दशा बताते हुए रो आये। ये लोग कई बार प्रशासन के आगे आवेदन कर चुके। लेकिन अभी इन्हें भेजना का कोई इंतजाम नहीं हुआ।

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खाने-पीने के इंतजाम का दावा
मजदूरों के सड़कों पर उतरने से पुलिस के भी हाथ-पैर फूल गए, किसी तरह इन्हें सड़क पर चड्ढा सिनेमा के पास रोका गया। मौके पर पहुंचे एसीएम राजेश कुमार ने बताया कि इन लोगों को भेजने के लिए बिहार सरकार से वार्ता की जा रही है। किसी को खाने की दिक्कत अब नहीं होगी। ये लोग हॉटस्पॉट में हैं इसलिए इन्हें इस तरह से बाहर नहीं जाने दे सकते।

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