सरकारें बदलीं लेकिन नही हुए काम
तेंदूखेड़ा विधानसभा चुनावों के मददेनजर आम जनता की जरूरतों और तकलीफों को नेतृत्व तक पहुंचाने के लिए पत्रिका द्वारा तैयार किये जा जनएजेंडा कार्यक्रम में तेंदूखेड़ा विधानसभा के अंतर्गत आने वाले अंतिम छोर पर बसे गांव इमलिया के वाशिंदो की पीड़ा खुलकर सामने आई। यहां लोगों ने जहां सालों से इंतजार और मिन्न्तों के बाद सड़क निर्माण न होने की बात की,वहीं गांव के नजदीक से होकर गुजरी नदी पर पुल के लिए लंबे से समय से की जा रही मांग की पूर्ति न होने पर रोष जाहिर किया। इसके अलावा विधानसभा के अंतिम छोर पर होने के कारण अन्य सुविधाओं से महरूम होने की पीड़ा भी ग्रामीणों से चेहरों से छलकी। यहां के जनएजेंडा कार्यक्र म में ग्राम के वरिष्ठ औ युवा सहित ३५ लोगों ने सहभागिता देकर अपनी बात रखी।
ये रहे मौजूद- इस मौके पर दामोदर दीक्षित,आनंद पालीवाल,मनोज दीक्षित,मयंक पाराशर,तरूण पालीवाल,अशोक शर्मा,वीरेंद्र पाराशर,जीतेंद्र पालीवाल,धर्मेश राजपूत,नरेंद्र दीक्षित,पूरन राव,उमाकांत दीक्षित,पूनम दीक्षित,महेंद्र दीक्षित,प्रकाश दुबे,सुदामा,रामेश्वर,सत्तू,प्रियांशु सहित अन्य लोग मौजूद रहे।
ये रहे मुददे- सालों से पक्की सड़कों और नदी पर पुल का इंतजार,स्कूली शिक्षा में गुणवत्ता की अनदेखी,स्थानीय स्तर पर सार्वजनिक उपयोग के लिए आधारभूत ढांचे का अभाव, प्राथमिक स्तर पर स्वास्थ्य सेवाओं की कमी,राशन की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए सहकारी समिति का भवन,जर्जर हो रहे स्कूलों के भवन जैसे कई मुददे यहां के लोगो से चर्चा के दौरान सामने आये।
क्षेत्र की जरूरतों और समस्याओं के निराकरण पर रहा फोकस
गाडरवारा में बुधवार 19 सितंबर को पत्रिका जन एजेंडा बनाने को लेकर विधानसभा क्षेत्र गाडरवारा की तीसरी बैठक काबरा मोटर्स पुराने बस स्टैंड के सामने संपन्न हुई। जिसमें उपस्थितों को कोआर्डिनेटरनवनीत काबरा ने बैठक के विषय से अवगत कराते हुए कहा कि पत्रिका अभियान के तहत पूर्व मे दो बैठकें हो चुकी है। जिनमें से कुछ मुद्दे निकल कर सामने आए हैं। इनमें से छांटकर विधानसभा क्षेत्र के 10 मुद्दे चयनित किए जाने हैं। बैठक में वरिष्ठ साहित्यकार एवं समाजसेवी,नागरिक,व्यापारियों सहित अन्य लोग मौजूद रहे। बैठक के दौरान हुई चर्चा में प्रमुख रूप से गाडरवारा को जिला बनाने सहित क्षेत्र की जरूरतों और समस्याओं पर फोकस रहा।
ये रहे मौजूद- इस मौके पर वरिष्ठ साहित्यकार कुशलेंद्र श्रीवास्तव, जिनेश जैन,रविशेखर जायसवाल, संदीप पलोड़,अवधेश पांडे, राजीव दुबे, अरुण बड़कुर, प्रियांक जैन, राजू विश्नोई, निखिल दुबे, राजेश नीरस आदि उपस्थित रहे।
यह रहे प्रमुख मुददे- गाडरवारा को जिला बनाया जाए,शक्कर नदी पर पुल, अवैध रेत खनन पर रोक,स्टाप डेम बनाया जाए,मल्टी स्पेशलिटी अस्पताल के साथ क्षेत्र में स्वास्थ्य सुविधाएं बढ़ें,सहकारी शुगर मिल, दाल मिल, आटा, मैदा मिल, फूड प्रोसेसिंग यूनिट लगें, सहकारी दुग्ध संग्रहण केंद्र बने,किसान के बच्चों को कृषि आधारित शिक्षा, किसानों को पेंशन, बीजोपचारित बीज पंचायत या सोसायटी से गांव में मिलें, नई कृषि नीति बनाकर खेती की नई संभावनाओं से किसानों को परिचित कराया जाकर, गांवों में छोटे उद्योग, कोल्ड स्टोरेज एवं बाजार उपलब्ध कराए,उच्चशिक्षा केंद्रों की स्थापना, एनटीपीसी से स्थानीय लोगों को रोजगार देने,बंद पड़ी कोलमाइंस, सोयाबीन प्लांट एवं अन्य बंद उद्योग समेत चीचली के बर्तन उद्योग को पुनर्जीवित करने,गौ आधारित कृ षि बने, गौशालाएं खुलें, गाडरवारा समेत चीचली, सांईखेड़ा के तालाबों का सौंदर्य करण हो। अन्य तालाबों को अतिक्रमण मुक्त कराया जाए।