निलंबन पर विपक्षी नेताओं ने क्या कहा
विपक्षी सांसदों निलंबन पर सपा सांसद डिंपल यादव ने कहा, “आज लगभग 40 से ज्यादा सांसद निलंबित हुए हैं। कल भी लोकसभा और राज्यसभा में मिलाकर 80 से ज्यादा सांसद निलंबित हुए। यह लोकतांत्रिक व्यवस्था के लिए दुर्भाग्यपूर्ण है। जो वातावरण हम देख रहे हैं, जहां हम संसद में अपनी बात नहीं रख पा रहे हैं वह सरकार की पूरी विफलता को दर्शाता है।”
कांग्रेस सांसद अधीर रंजन चौधरी ने कहा, “यह संसद के अंदर अराजकता के अलावा और कुछ नहीं है…उन्हें हमारे देश की संसदीय प्रणाली पर रत्ती भर भी भरोसा नहीं है। इसलिए संसद में अराजकता, अराजकता और अराजकता के अलावा कुछ नहीं है।”
कांग्रेस नेता सुप्रिया श्रीनेत ने कहा, “ये बड़ी निर्णायक बैठक है और इसके पहले भी जो इंडिया गठबंधन की बैठक हुई है वो महत्वपूर्ण बैठक हुई है। एक मंच पर देश के विपक्ष का आना मायने रखता है, आज के वक्त में जब 141 विपक्षी सांसदों को मनमाने ढंग से निरकुंश सत्ता के चलते सस्पेंड कर दिया गया है, मुझे लगता है कि मोदी जी ऐसा और करते रहें और हम सब एक साथ और आते रहेंगे। जिस तरह से विपक्षी सांसदों का सस्पेंशन हुआ है, बेरोजगारी है और संसद में जो चूक हुई है इन सभी मुद्दों पर आज चर्चा होगी।”
समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा, “यह सरकार सही बात सुनना नहीं चाहती है। भाजपा से यह पूछना चाहिए कि वे लोकतंत्र का मंदिर बोलते हैं। हम सब अपने भाषणों में लोकतंत्र का मंदिर कहते हैं। ये किस मूंह से इसे लोकतंत्र का मंदिर कहते हैं, जब ये विपक्ष को बाहर कर रहे हैं। अगर ये दूसरी बार सरकार में आ गए तो यहां बाबासाहेब अंबेडकर का संविधान नहीं बचेगा।”