बता दें कि कोरोना का नया वेरिएंट सामने आने के बाद यूरोपियन यूनियन समेत दुनियाभर के कई देशों ने दक्षिण अफ्रीका से आने वाले विमानों पर रोक लगा दी है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इस बैठक में WHO ने कई अहम फैसले लिए हैं। इस दौरान तय किया गया कि इस नए वैरिएंट को ‘वैरिएंट आफ कंसर्न’ या वैरिएंट आफ इंट्रेस्ट में से कौन सी श्रेणी में रखा जाए। विशेषज्ञों का कहना है कि अभी इस बारे में ज्यादा जानकारी नहीं है सिर्फ इतना पता है कि इस वैरिएंट में बड़ी संख्या में म्यूटेशन हुआ है और चिंता की बात यह है कि जब म्यूटेशन ज्यादा होता है, तो यह वायरस के व्यवहार पर प्रभाव डाल सकता है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन की टेक्निकल लीड मारिया वान केरखोव का कहना है कि अभी कोरोना के इस नए वेरिएंट को लेकर काफी जानकारी जुटाने की जरूरत है। अभी हमें यह समझने में कुछ सप्ताह लगेंगे कि इस वैरिएंट का कोरोना के किसी टीके पर क्या प्रभाव पड़ता है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि अभी कोरोना के B.1.1.529 वेरिएंट पर टिप्पणी करना जल्दबाजी होगी। वहीं यह जानकारी भी सामने आ रही है कि यह वेरिएंट AIDS मरीज से विकसित हुआ है, जो अपना इलाज अच्छी तरह से नहीं करवा रहे हैं। इस वेरिएंट के प्रतिरक्षाविहीन व्यक्ति के पुराने संक्रमण के दौरान विकसित होने की आशंका है।
बता दें कि बी.1.1.529 नया वेरिएंट का पहला मामला 11 नवंबर को बोत्सवाना में सामने आया है। इसके तीन दिन बाद दक्षिण अफ्रीका में भी इसी वेरिएंट की पुष्टि की गई। साथ ही हॉन्ग कॉन्ग में 36 साल के एक शख्स में यह वेरिएंट मिला है, जो 22 अक्टूबर से 11 नवंबर तक दक्षिण अफ्रीका में लौटा है। 13 नवंबर को कोरोना परीक्षण के दौरान उसके कोरोना संक्रमित होने की पुष्टि हुई, इसके बाद से वह क्वांरटाइन है।