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धनिया को चमक देने किया जा रहा खतरनाक रसायन का उपयोग

बंद कमरे में सल्फर का धुआं कर दी जाती है धनिया को चमकअधिकारियों की जानकारी में होने के बाद भी नहीं हो रही कार्रवाई

नीमचMay 01, 2019 / 09:44 pm

Mahendra Upadhyay

नीमच. धनिया को हरा रंग देने के लिए अवैधानिक रूप से रसायन का उपयोग किया जाता है। रसायन का उपयोग करने से स्वास्थ्य पर प्रतिकूल असर पड़ता है। इसकी जानकारी खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के आला अधिकारियों सहित प्रशासन के अन्य वरिष्ठ अधिकारियों को भी है, लेकिन आज तक वैधानिक कार्रवाई नहीं की गई।
सल्फर के धुएं से देते हैं चमक
बाजार में जिस क्वालिटी की धनिया बिक रहा है इसकी गुणवत्ता पर कई बार सवाल उठे हैं। खाद एवं आपूर्ति विभाग ने समय समय पर सेपल लेकर कार्रवाई भी की, लेकिन बड़ी उपलब्धि अब तक नहीं मिली। जबकि जिला मुयालय पर धनिया को चमक देने के लिए खुलेआम सल्फर (गंधक) का उपयोग किया जाता है। धनिया में पानी छिड़ककर सल्फर के धुएं से इसे चमकाया जा रहा है। यह धुआं स्वास्थ्य पर प्रतिकूल असर डालता है। जानकार बताते हैं कि धनिया को हरे रंग की चमक देने के लिए ही सल्फर का उपयोग किया जाता है। जिस स्थान पर धनिया को चमक दी जाती है उस कमरे को पूरी तरह बंद रखा जाता है ताकि रसायन का धुआं बाहर नहीं निकले। जो कर्मचारी धुआं करता है उसके स्वास्थ्य पर ाी विपरित प्रभाव पड़ता है। व्यापारियों द्वारा लाभ कमाने के चक्कर में धनिया पर रसायन से पॉलिश कर लोगों के स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ की जा रही है।
धनिया की होती है दो क्वालिटी
धनिया की दो क्वालिटी होती है। भूरे और काले रंग का धनिया बाजार में बिकता है। धनिया को सीधे बाजार में बेचना मुश्किल होता है। देशी धनिया 6 1 से 6 4 रुपए किलो के बीच है। दूसरी क्वालिटी 5३ से 58 रुपए किलो में बिक रही है। कम गुणवत्तायुक्त धनिया औसत 15-20 रुपए किलो बिकता है। अधिकांशत: इसी धनिए में पानी में पीला रंग मिलाकर छिड़का जाता है। इसके बाद पूरी तरह बंद कमरे में गंधक जलाकर उसमें धनिया बंद कर दिया जाता है। जब धुआं खत्म होता है तो धनिया सुनहरा और चमकीला हो जाता है। इसके बाद खुले बाजार में बेच दिया जाता है। रसायनयुक्त धनिया में देशी धनिया को मिलाकर पीस दिया जाता है। देशी धनिए की खुशबू रसायन की गंध को दबा देती है। तत्कालीन कलेक्टर रजनीश श्रीवास्तव के निर्देश पर एक बार कार्रवाई भी हुईथी, लेकिन उस कार्रवाई का आज तक खुलासा नहीं हुआ।
यहां हुई अब तक कार्रवाई
– 25 अगस्त 2015 को बघाना में छोटीसादड़ी रोड स्थित फैक्ट्री पर खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग ने कार्रवाई की थी। धनिए पर हानिकारक केमिकल की परत चढ़ाई जा रही थीं। विभाग ने छापा माराकर फैक्ट्री से 30 क्विंटल से अधिक धनिया जब्त किया था। इसमें से करीब 15 क्विंटल धनिया में रसायन की पॉलिश थी। धनिया जब्त कर पंचनामा बनाया।
– 14 दिसबर 2017 धनेरियाकला गांव में एक मौसर का कार्यक्रम चल रहा था। भोजन करने बैठे लोगों ने प्रशासन से शिकायत की थी कि समीप स्थित फैक्ट्री से गैस का रिसाव हो रहा है। इस गैस से लोगों की तबीयत खराब हो रही है। शिकायत पर प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी मौके पर पहुंचे थे। खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के अधिकारी भी थे। बघाना और धनेरियाकला के समीप स्थित शाकंभरी ट्रेडिंग कंपनी पर कार्रवाई की गईथी।
– 6 नवबर 2018 को बघाना थाना प्रभारी अमित सारस्वत ने अपनी टीम के के साथ काला खेत बघाना स्थित मेवाड़ ट्रेडिंग पर धनिया व पोस्ता पर जहरीला केमिकल चढ़ाते व्यापारी को रंगे हाथ पकड़ा था। खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के अधिकारियों ने मौके पहुंचकर कार्रवाई की थी। इस दौरान धनियां एवं पोस्ता के सेपल लेकर जांच के लिए भेजे गए थे।
मेरी जानकारी में आया था, सेपल लिए थे
धनिया में रसायन का उपयोग करने की बात मेरी जानकारी में भी आई थी। मैंने करीब १०-१५ दिन पहले राजदीप ट्रेडिंग कपनी से शंका होने पर धनिया का सेपल जांच के लिए भोपाल भेजा था। अब तक इसकी रिपोर्ट नहीं आईहै। जहां तक धनिया में खतरनाक रसायन का उपयोग करने वालों पर कार्रवाई का प्रश्न है तो इस संबंध में कलेक्टर से मार्गदर्शन लेकर एक टीम गठित कर जल्द वैधानिक कार्रवाई की जाएगी।
– संजीव मिश्रा, मुय खाद्य सुरक्षा अधिकारी

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