इस शहर की सड़क पर ऐसा क्या है जहां पांव रखने से बचते हैं लोग
-कहीं उफन रहीं नालियां, तो कहीं बीच सड़क पर लगा गदंगी का ढेर-जिम्मेदारों ने मूंद रखी आंखें, शहरवासी नाक सुकोड़ कर निकलने को मजबूर
नीमच. कहीं बीच सड़क पर पड़ा कचरे ढेर, तो कहीं बीच सड़क में नाली से निकली गंदगी का ढेर, कहीं सफाई के अभाव में जाम होती नालियों से ऊफन रहा गंदा पानी, तो कहीं कचरे को फैलाते स्वछंद विचरण करते पशुओं का जमावड़ा। यह हालात हैं शहर के मुख्य मार्ग और चौराहों के। जहां से आमजन को आवाजाही करने के लिए मुहं पर रूमाल रखकर या नाक सुकोड़ कर निकलना पड़ रहा है।
ये हालात हैं उस शहर के जो पिछले दिनों स्वच्छता सर्वेक्षण की दौड़ में नंबर वन आने के लिए साफ सुथरा और स्वच्छ होने का दावा कर रहा था। तब तो हालात कुछ ठीक नजर आ रहे थे। लेकिन वर्तमान हालातों को देखकर ऐसा लगता है जैसे जिम्मेदारों ने शहर की स्वच्छता से ही मुहं मोड़ लिया हो। पत्रिका ने जब रविवार को शहर के मुख्य मार्गों और चौराहों पर रूख किया तो हर कोई मुख्य मार्गों पर पड़ी गंदगी और कचरे के कारण खुद की परेशानी की कहानी बयां कर रहा था।
केस 1. यह नजारा है मूलचंद्र मार्ग का है। जहां दोपहर के समय बीच सड़क पर कचरे का ढेर लगा हुआ था। कचरा आधी सड़क तक पहुंचने के कारण आवाजाही करने वाले लोगों के लिए सड़क ने गली का रूप धारण कर लिया था। चूकि बीच सड़क पर पड़े कचरे के ढेर में ही स्वछंद विचरण करने वाले पशु कचरे के ढेर में ही कुछ खाद्य प्रदार्थ ढूंढ रहे थे। ऐेसे में सड़क से निकलने वाले वाहन चालक और रहागिर भयभीत होकर निकल रहे थे, कि कहीं ऐसा न हो कि अचानक पशु सामने आने से कोई दुर्घटना हो जाए। इस स्थान से लोगों को निकलने में काफी बदबू का सामना भी करना पड़ रहा था। ऐसे में कोई मुहं पर रूमाल लगाकर निकल रहा था, तो कोई नाक सुकोड़ कर निकल रहा था।
केस 2. वीर पार्क रोड तांगा अड्डा के बाहर की नाली पूर्ण रूप से जाम हो चुकी है। ऐसे में बिना बारिश के भी नाली का पानी ऊफन कर बाहर आ रहा था। रविवार को हालात यह थे कि नाली का पानी सड़क पर करीब १०० मीटर दूर तक जा रहा था, जिससे आवाजाही करने वाले लोग उक्त गंदे पानी से बच बचकर निकल रहे थे। वहीं आसपास के दुकानदार भी इस बदबू भरे गंदे पानी से त्रस्त नजर आ रहे थे।
केस2. शहर के बीचों बीच स्थित पटेल चाल की बीच सड़क में गड्ढ़ा कर नाली के कचरे को वहीं डाल दिया है। बीच सड़क पर खुदे गड्ढे और बाहर पड़े गंदे कचरे के कारण जहां एक ओर बदबू की भरमार हो चुकी है। वहीं आवाजाही करने वाले लोगों को गड्ढे से बचकर निकलना पड़ता है। इस प्रकार सड़क के बीच अधूरा काम छोड़ देने से शहरवासियों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। वहीं आसपास के रहवासी भी अपने बच्चों को घर से बाहर नहीं निकलने दे रहे हैं। क्योंकि कहीं जाने अनजाने में बच्चा गिर गया तो कहीं कोई बड़ा हादसा न हो जाए।
केस 4. शहर के पुराना हाट मैदान रोड पर भी कचरे के ढेर के पास ही स्वछंद विचरण करने वाले पशुओं का जमावड़ा लगा होने के कारण सब्जी मंडी व जिला चिकित्सालय आवाजाही करने वाले लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था। यहां कचरे के साथ ही काफी मात्रा में पॉलिथीन होने के कारण पॉलिथीन खाद्य सामग्री के चक्कर में पशुओं के पेट में भी जाने से नहीं बचती होगी। लेकिन इस ओर भी जिम्मेदारों का ध्यान नहीं है।
वर्जन.
शहर में चार पाईंट चिन्हित किए हैं। जहां शेड बनाकर वहीं से गीला और सूखा कचरा अलग अगल कर ट्रेचिंग ग्राउंड भेजा जाएगा। मूलंचद्र मार्ग पर शीघ्र ही यह कार्य शुरू हो जाएगा। फिर कचरा फैलने की दिक्कत नहीं आएगी। पटेल चाल में खुदे हुए गड्ढे का कार्य भी अतिशीघ्र पूरा हो जाएगा।
-विश्वासचंद्र शर्मा, हेल्थ ऑफिसर, नगरपालिका
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