नई दिल्ली

पंचतत्व में विलीन हुए अटल, दो महान नेताओं के बीच बनेगी समाधि, मोदी सरकार ने बदला यूपीए का कानून

केंद्रीय मंत्रीमंडल की बैठक में एक अहम फैसला लिया गया। बैठक में यह निर्णय लिया गया कि स्मृति स्थल में अटल जी की समाधि दो पूर्व प्रधानमंत्रियों के बीच बनाई जाएगी।

नई दिल्लीAug 17, 2018 / 07:14 pm

Anil Kumar

पंचतत्व में विलीन हुए अटल, दो महान नेताओं के बीच बनेगी समाधि, मोदी सरकार ने बदला यूपीए का कानून

नई दिल्ली। मंत्रोच्चार के बीच स्मृति स्थल पर देश के पूर्व प्रधानमंत्री और भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी को शुक्रवार को उनकी दत्तक बेटी नमिता ने मुखाग्नि दी और इसी के साथ वे पंचतत्व में विलीन हो गए। इससे पहले वाजपेयी के इस अनंत यात्रा में हजारों लगों ने अश्रूपूर्ण विदाई दी। इनसबके बीच केंद्रीय मंत्रीमंडल की बैठक में एक अहम फैसला लिया गया। बैठक में यह निर्णय लिया गया कि स्मृति स्थल में अटल जी की समाधि दो पूर्व प्रधानमंत्रियों के बीच बनाई जाएगी। वाजपेयी की समाधि शांति वन में जवाहरलाल नेहरू और विजय घाट में लाल बहादुर शास्त्री की समाधियों के बीच बनाई जाएगी। आपको बता दें कि वाजपेयी की अंत्येष्टि यमुना किनारे हुई और वहीं उनका समाधि स्थल बनाया जाएगा। इससे पहले यूपीए सरकार ने अपने कार्यकाल में यमुना किनारे समाधि बनाने पर रोक लगा दिया था, लेकिन मोदी सरकार ने इसे पलटते हुए अटल बिहारी वाजपेयी की समाधि बनाने का फैसला किया है।

“पंचतत्व” में विलीन हुए अटल, पूरे देशभर में छाया शोक, राजस्थानियों ने कुछ ऐसे दी श्रद्धांजलि

यमुना किनारे किया गया अंतिम संस्कार

आपको बता दें कि इससे पहले वाजपेयी का पार्थिव शरीर कृष्ण मेनन मार्ग स्थित उनके आवास से सुबह 11 बजे दीन दयाल मार्ग पर भारतीय जनता पार्टी के मुख्यालय लाया गया। जहां बड़ी संख्या में बच्चे, बूढ़े, महिलाएं सभी मौजूद थे। अपने नेता के अंतिम दर्शन के लिए लोग पेड़ों तक पर चढ़ गये। भाजपा मुख्यालय के बाहर दो एलईडी स्क्रीन लगे थे ताकि जो व्यक्ति अंदर दर्शन के लिए ना जा सकें वो बाहर से ही उन्हें श्रद्धांजलि दे सकें। करीब दो बजे भाजपा मुख्यालय से अटल बिहारी के पार्थिव शरीर को निकाला गया और फिर शाम पांच बजे यमुना किनारे ‘राष्ट्रीय स्मृति स्थल’ पूरे राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, भाजपा अध्यक्ष अमित शाह, तमाम कैबिनेट मंत्रियों, मुख्यमंत्रियों, विपक्षी दलों के नेताओं और अन्य लोगों ने दिवंगत नेता को श्रद्धांजलि दी। इसके अलावे भूटान नरेश, अफगानिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति हामिद करजई, बांग्लादेश और नेपाल के प्रतिनिधि ने भी अटल बिहारी वाजपेयी को श्रद्धांजलि दी।

Copyright © 2024 Patrika Group. All Rights Reserved.