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नोएडा

सुप्रीम कोर्ट को आजम खान की माफी स्वीकार नहीं

सपा नेता को 15 दिसम्बर तक फिर माफीनामा पेश करने को कहा

नोएडाDec 07, 2016 / 03:31 pm

sandeep tomar

azam khan

azam khan

 नई दिल्ली/नोएडा. बुलन्दशहर गैंगरेप मामले में अभद्र टिप्पणी कर फंसे आज़म खान के माफीनामे को सुप्रीम कोर्ट ने अस्वीकार कर दिया है. कोर्ट ने सपा नेता से 15 दिसम्बर तक दोबारा माफीनामा पेश करने को कहा है.

हलफनामा की भाषा पर सवाल

सपा नेता द्वारा कोर्ट के सामने पेश किए गए ‘बिना शर्त माफीनामा’ को कोर्ट ने तकनीकी आधार पर यह कहते हुए ठुकरा दिया पेश हलफनामे की शुरुआत अगर से हुई हो, जो उचित नहीं है. न्यायमूर्ति दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली कोर्ट ने उक्त हलफनामे को अस्वीकार किया. कोर्ट ने दूसरे माफीनामे को आजम खान बिना शर्त के दाखिल करें. दरअसल हलफनामे में एक पैराग्राफ की शुरुआत इफ यानि अगर से हुई है..इसमें कहा गया है-यदि मेरे बयान से दुख पहुंचा है… कोर्ट ने कहा कि अगर कोई हलफनामा अगर या यदि से शुरू होता है तो ये बिना शर्त माफी नहीं है.
अपने विवादित बयानों के कारण अक्सर विरोधियों के निशाने पर रहने वाले आज़म खान ने वकील कपिल सिब्बल के जरिए अदालत के समक्ष हलफनामा पेश किया. इसमें कहा गया कि उन्होंने सामान्य तरीके से वह टिप्पणी की थी. इसके पीछे उनका उद्देश्य पीड़ित परिवार को चोट पहुंचाना नहीं था.

ऐसे फंसे आज़म खान

गत जुलाई माह की 29 तारीख की रात नोएडा का एक परिवार घर की दो महिलाओं के साथ एक रिश्तेदार के यहां कार्यक्रम में शिरकत करने जा रहा था. बुलंदशहर के पास बदमाशों ने उनकी कार रोकी. फिर लूटपाट की. बदमाशों ने कार में सवार महिला और उसकी नाबालिग बेटी से बंदूक की नोक पर सामूहिक दुष्कर्म भी किया. इस हादसे के बाद अखिलेश सरकार बैकफुट पर आ गयी थी. आजम खान के बयान से स्थिति और बिगड़ गई। दरअसल अखिलेश सरकार में वरिष्ठ मंत्री आज़म खान ने कहा था कि ये घटना को राजनीति से प्रेरित साजिश के कारण घटित हुई है.

सुप्रीम कोर्ट ने लिया स्वतः संज्ञान

राज्य सरकार के एक मंत्री के मुंह से ऐसी शर्मनाक घटना पर एक संवेदनहीन बयान सुनकर सर्वोच्च अदालत ने स्वतः संज्ञान लिया. कोर्ट ने आज़म को कोर्ट में पेश होकर पक्ष रखने का आदेश दिया. कोर्ट ने इस मामले पर कुछ मीडिया संस्थानों से वह रिकॉर्ड कोर्ट को उपलब्ध कराने का निर्देश दिया था जिसमें सपा नेता विवादित टिप्पणी करते हुए पाये गए थे.

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