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Special Interview: सीमा तोमर ने कहा- वर्ल्‍ड चैंपियनशिप में चाइना की खिलाड़ी मेरे लिए कोई चुनौती नहीं

मॉस्‍को में होने वाली वर्ल्‍ड चैंपियनशिप में जाने से पहले इंटरनेशनल शूटर सीमा तोमर से पत्रिका संवाददाता नितिन शर्मा की खास बातचीत

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नितिन शर्मा, नोएडा। भारतीय शूटराें की मौजूदा तैयारियां को देखते हुए पूरी उम्मीद है कि आगामी वर्ल्‍ड शूटिंग चैंपियनशिप में भारतीय शूटर बेहतरीन प्रदर्शन करेंगी। हाल ही में कजाकिस्तान से लौटीं शूटर सीमा तोमर अब माॅस्को शहर में होने वाली वर्ल्‍ड चैंपियनशिप में जाएंगी। चैंपियनशिप में बेहतरीन प्रदर्शन करने के लिए वह तैयारियों में जुटी हुर्इ हैं। इसी को लेकर उत्तर प्रदेश पत्रिका की टीम ने सीमा तोमर से खास बातचीत की।







अपनी मां प्रकाशों देवी से प्ररेणा लेकर बंदूकबाजी को ही अपनी करियर बनाने वाली सीमा तोमर का जून में कजाकिस्तान के बाद सोवियत रूस के माॅस्को में होने वाले वर्ल्‍ड चैंपियनशिप में सेलेक्शन हुआ। सीमा तोमर 2016 में एशियन चैंपियनशिप में गोल्ड झटक चुकी हैं। इतना ही नहीं सीमा अब तक 50 से ज्यादा नेशनल आैर इंटरनेशनल शूटिंग गेम खेल चुकी हैं। पश्चिमी उत्तर प्रदेश के बागपत जिले के एक छोटे से गांव जौहड़ी में जन्मी सीमा तोमर इन दिनों माॅस्को में होने वाली वर्ल्‍ड चैंपियनशिप की तैयारी में जुटी हैं। उन्होंने बताया कि इस बार गोल्ड ही झटकना है, जिसके लिए तैयारियां चल रही हैं। इसमें उनकी मां प्रकाशो देवी का भी पूरा साथ है। प्रकाशो देवी भी बंदूकबाजी में 60 साल की उम्र के बाद परचम लहरा चुकी हैं।

मौसम को लेकर भी कर रही हूं तैयारी

सीमा तोमर ने बताया कि वे 28 अगस्त को वर्ल्‍ड चैंपियनशिप में दिल्ली से माॅस्को को निकलेंगे। 2 सितंबर को इवेंट होगा। एेसे में माॅस्को का यहां के मुकाबले बहुत ही ठंडा मौसम है। इसका स्वास्‍थ पर असर पड़ेगा, लेकिन उसको भी हैंडल कर लेंगे। बस हवा न हो क्योंकि शूटिंग के दौरान हवा का सबसे ज्यादा असर पड़ता है। यह एक चुनौती हो सकती है। इसके लिए तैयारी शुरू कर दी है।

वेजीटेरियन होने की वजह से खाने को लेकर होती है समस्या

सीमा तोमर ने बताया कि वह वेजीटेरियन हैं। एेसे में खाने-पीने को लेकर समस्या आती है। खाने में ज्यादा वैरायटी नहीं मिल पाती। नाॅनवेज ज्यादा मिलता है। एेसे में एनर्जी की बहुत ज्यादा जरूरत हाेती है। इसके लिए वेजीटेरियन खाने में भी एनर्जी देने वाली चीजें देखनी पड़ती हैं।

कजाकिस्तान में भी सीखने को मिला

उन्‍होंने कहा क‍ि अब वो दिल्ली कैंप में छह से सात दिन तक शूटिंग ट्रेनिंग करेंगी। इस बार टेक्निकल फाल्ट को भी देखेंगी। कजाकिस्तान में भी शूटिंग के दौरान गन में टेक्निकल फाल्ट आने की वजह से गन हिलने आैर हवा के तेज होने का नुकसान उठाना पड़ा था, लेकिन इस बार यह सभी फाल्ट क्लियर करूंगी। इस पर सबसे ज्यादा ध्यान देना है। खुद को मेंटल रिलेक्स रखा है। अब एक साथ हार्ड प्रेक्टिस शुरू करेंगी।

किस देश के खिलाड़ी होंगे चुनौती

उन्‍होंने कहा, इंटली आैर यूरोपियन देशों के प्लेयर से ही कड़ी फाइट करनी होती है। बाकी चाइना के खिलाड़ी कोर्इ चुनौती नहीं है, लेकिन इस बार मैं उनको भी मात दूंगी। इसे पहले लास्ट र्इयर 2016 में इकवेलेशन रिकाॅर्ड किया है। इसमें आेलंपिक मेडल भी आ गया था। चुनौती से कोर्इ डर नहीं लग रहा है। सारी चीजें ठीक हैं, तो फाइट अपने ही हक में है।

प्रदेश सरकार से की ये गुहार

एशियन चैंपियनशिप में गोल्ड आैर सिल्वर झटकने वाली शूटर सीमा तोमर ने हाल ही में अपने उत्तर प्रदेश के सीएम को एक पत्र लिखा है। इसमें उन्होंने बताया कि वह यूपी में रहती हैं। उन्होंने अपने प्रदेश का नाम इंटरनेशनल लेवल पर लाया है। यूपी में भी बच्चों को स्पाेर्ट्स में बढ़ाने के लिए कम से कम पंजाब आैर हरियाणा जैसे प्रदेशों के बराबर की ही सुविधा दिलाएं। प्रदेश सरकार को सरकारी एकेडमी आैर कोच की व्यवस्था करनी चाहिए, जिससे गरीब आैर होनहार बच्चे आगे आ सकें।

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