एशियाई खेलों में भारत स्वर्ण से चूका-
एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक से चूकने के बाद भारतीय हॉकी टीम ने 2020 टोक्यो ओलंपिक्स में सीधे तौर पर प्रवेश करने का मौका गंवा दिया था। इंडोनेशिया में हुए बहुदेशीय एशियाई खेलों में भारत को सेमीफाइनल मुकाबले में मलेशिया ने पेनल्टी शूट आउट के दौरान मात दी थी। भारत ने इस टूर्नामेंट में पाकिस्तान को हराकर कांस्य पदक जीता था।
घर में हुए वर्ल्ड कप में भी चूका भारत-
2018 हॉकी वर्ल्ड कप में भारत क्वार्टरफाइनल मुकाबले में नीदरलैंड्स के हाथों 2-1 से हारकर बाहर हो गया था। इस मुकाबले में भारत के कोच हरेंद्र ने मैच के बाद प्रेस कांफ्रेंस में हार का दोष अंपायरों पर मड़ा था। इसके लिए उनको चेतावनी भी मिली थी। अंतर्राष्ट्रीय हॉकी संघ(FIH) ने इसके लिए हरेंद्र को नियम की अवहेलना करने का दोषी माना था और उनके मैच के बाद किए गए प्रेस कांफ्रेंस में दिए गए बयान को अस्वीकार्य बताया था।
हरेंद्र का अभी तक का प्रदर्शन-
हरेंद्र के कोच बनने के बाद भारत ने एशियाई खेलों में कांस्य पदक पर कब्ज़ा जमाया था और इसके बाद हॉकी वर्ल्ड कप 2018 में वह क्वार्टरफाइनल खेलकर बाहर हो गया था। एशियाई खेलों और वर्ल्ड कप में खराब प्रदर्शन के बाद से ही हरेंद्र का पद मुश्किलों में आ गया था। उनको एक बार फिर जूनियर टीम का कोच बना दिया गया है। उनके कोच रहते भारतीय जूनियर टीम पूर्व में वर्ल्ड कप पर कब्ज़ा जमा चुकी है।